News18 : Jul 17, 2020, 08:14 AM
जयपुर। राजस्थान (Rajasthan) की राजनीति में आए तूफान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) ने सचिन पायलट (Sachin Pilot) को राज्य की राजनीति से बाहर का रास्ता दिखाने की कोशिश की। माना जा रहा है कि यह तूफान तभी खत्म होगा जब कांग्रेस हाईकमान सचिन पायलट के लिए कोई नई भूमिका तय कर दे। पूरे राजनीतिक घटनाक्रम में पायलट से एक कदम आगे रहते हुए गहलोत एक ओर जहां बुधवार को पूर्व डिप्टी सीएम पर ज्यादा हमलावर थे वहीं दूसरी ओर खबरें थीं कि दिल्ली में कांग्रेस नेतृत्व ने पायलट कैंप के विधायकों के साथ संपर्क साधने की कोशिश की।
जब से सरकार बनी तभी से षड्यंत्रसीएम गहलोत ने बातचीत में कहा कि ये (सचिन पायलट) जो अब कर रहे हैं ये नई बात नहीं है। जब से सरकार बनी तभी से षड्यंत्र शुरू हो गया था। डेढ़ साल से हमारे और सचिन के बीच कभी बात ही नहीं हुई, टॉकिंग टर्म ही नहीं है। एक मंत्री, मुख्यमंत्री से बात ही नहीं करे, शिला न करे तो क्या है? लोकतंत्र में बात तो आवश्यक है। उन्होंने कहा कि डेढ़ साल से जो खबरें आती रहीं उस पर किताब लिख दो।सीएम ने कहा कि सचिन को SOG ने नोटिस दिया तो ये बेचारे बन गए। बेचारे सचिन को नोटिस दे दिया, हल्ला मचाया, जब SOG ने सरकार गिराने के लिए बीजेपी की जांच शुरू की तो जवाब सचिन दे रहे हैं। गुरुग्राम में मेहमाननवाजी किसकी हो रही है? कौन लोग आज वकील हैं उनके? राज्यसभा चुनाव में भी विधायकों को बाड़ेबंदी करनी पड़ी, ये नौबत क्यों आई? मुझे सरकार बचानी थी उस दिन।
'राज्यसभा चुनाव के वक़्त भी खरीद फ़रोख़्त हो रही थी'गहलोत ने बताया कि राज्यसभा चुनाव के वक़्त भी खरीद फ़रोख़्त हो रही थी, आज भी हो रही है, मेरे पास उसका सबूत है। उन्होंने कहा कि सचिन द्वारा विधायक खरीद फरोख्त पर जो कहा गया उस पर कायम हूं। गहलोत ने कहा कि घर का झगड़ा घर में निपटाना चाहिए था, घर के झगड़े में दुश्मन के साथ मिलकर राजनीति करेंगे, खेल करेंगे तो क्या बचेगा?
'महत्वाकांक्षी होना बुरा नहीं है, लेकिन।।।'बातचीत में सीएम ने कहा कि महत्वाकांक्षी होना बुरा नहीं है, लेकिन अतिमहत्वाकांक्षी होकर फ़ाउल खेलना ठीक नहीं है। 20,15,12 जो भी विधायक हैं आपके पास, 100 के आंकड़े के पार करके हम सरकार बना के बैठे हैं उसे गिराकर बीजेपी के सहयोग से सरकार बनाना चाहते हैं। इनको जनता कभी माफ नहीं करेगी। वहीं गहलोत ने सचिन पायलट पर एक बड़ा आरोप लगाते हुए कहा कि पायलट के शब्द हैं कि मैं कांग्रेस को राजस्थान से समाप्त कर दूंगा।
'मैं सचिन के खिलाफ नहीं, ये राहुल गांधी जानते हैं'उन्होंने कहा कि पायलट पहले बीजेपी में जाना चाहते थे जब एमएलए तैयार नहीं हुए तो बोले थर्ड फ्रंट बनाएंगे नई पार्टी बनाएंगे। जिस पार्टी ने आपको सब कुछ दिया उससे गद्दारी नहीं करनी चाहिए। मैं सचिन के खिलाफ नहीं, ये राहुल गांधी जानते हैं। अगर सचिन पार्टी में वापस आते हैं तो मैं सबसे पहले उनको प्यार से गले लगा लूंगा। उन्होंने कहा कि जब मैं एमपी बना था तब सचिन 3 साल के थे। मेरा उनके प्रति और उनके परिवार के प्रति स्नेह हैं। मैं 50 साल से देख रहा हूं, ये लोग कांग्रेस मुक्त नहीं कर पाए। चाहे सिंधिया जी हो या पायलट जी हों सब देखिये किस उम्र में सांसद बन गए, मंत्री बन गए। पायलट जी को 10 साल से एक्स्ट्रा सपोर्ट मिला और वो आज घातक हो गया और उन्हें ज़मीनी हकीकत मालूम होती तो ऐसा नहीं करते।
'इतना बड़ा टेप आ गया, मीडिया शांत है'उन्होंने कहा कि इतना बड़ा टेप आ गया, मीडिया शांत है। कांग्रेस का होता तो क्या क्या हो गया होता। गहलोत ने कहा कि हम सबकी ज़िम्मेदारी है देश को चलाने की। बीजेपी को तोड़ फोड़ बंद कर देना चाहिए। पूरे देश-दुनिया में थू-थू हो रही है।
जब से सरकार बनी तभी से षड्यंत्रसीएम गहलोत ने बातचीत में कहा कि ये (सचिन पायलट) जो अब कर रहे हैं ये नई बात नहीं है। जब से सरकार बनी तभी से षड्यंत्र शुरू हो गया था। डेढ़ साल से हमारे और सचिन के बीच कभी बात ही नहीं हुई, टॉकिंग टर्म ही नहीं है। एक मंत्री, मुख्यमंत्री से बात ही नहीं करे, शिला न करे तो क्या है? लोकतंत्र में बात तो आवश्यक है। उन्होंने कहा कि डेढ़ साल से जो खबरें आती रहीं उस पर किताब लिख दो।सीएम ने कहा कि सचिन को SOG ने नोटिस दिया तो ये बेचारे बन गए। बेचारे सचिन को नोटिस दे दिया, हल्ला मचाया, जब SOG ने सरकार गिराने के लिए बीजेपी की जांच शुरू की तो जवाब सचिन दे रहे हैं। गुरुग्राम में मेहमाननवाजी किसकी हो रही है? कौन लोग आज वकील हैं उनके? राज्यसभा चुनाव में भी विधायकों को बाड़ेबंदी करनी पड़ी, ये नौबत क्यों आई? मुझे सरकार बचानी थी उस दिन।
'राज्यसभा चुनाव के वक़्त भी खरीद फ़रोख़्त हो रही थी'गहलोत ने बताया कि राज्यसभा चुनाव के वक़्त भी खरीद फ़रोख़्त हो रही थी, आज भी हो रही है, मेरे पास उसका सबूत है। उन्होंने कहा कि सचिन द्वारा विधायक खरीद फरोख्त पर जो कहा गया उस पर कायम हूं। गहलोत ने कहा कि घर का झगड़ा घर में निपटाना चाहिए था, घर के झगड़े में दुश्मन के साथ मिलकर राजनीति करेंगे, खेल करेंगे तो क्या बचेगा?
'महत्वाकांक्षी होना बुरा नहीं है, लेकिन।।।'बातचीत में सीएम ने कहा कि महत्वाकांक्षी होना बुरा नहीं है, लेकिन अतिमहत्वाकांक्षी होकर फ़ाउल खेलना ठीक नहीं है। 20,15,12 जो भी विधायक हैं आपके पास, 100 के आंकड़े के पार करके हम सरकार बना के बैठे हैं उसे गिराकर बीजेपी के सहयोग से सरकार बनाना चाहते हैं। इनको जनता कभी माफ नहीं करेगी। वहीं गहलोत ने सचिन पायलट पर एक बड़ा आरोप लगाते हुए कहा कि पायलट के शब्द हैं कि मैं कांग्रेस को राजस्थान से समाप्त कर दूंगा।
'मैं सचिन के खिलाफ नहीं, ये राहुल गांधी जानते हैं'उन्होंने कहा कि पायलट पहले बीजेपी में जाना चाहते थे जब एमएलए तैयार नहीं हुए तो बोले थर्ड फ्रंट बनाएंगे नई पार्टी बनाएंगे। जिस पार्टी ने आपको सब कुछ दिया उससे गद्दारी नहीं करनी चाहिए। मैं सचिन के खिलाफ नहीं, ये राहुल गांधी जानते हैं। अगर सचिन पार्टी में वापस आते हैं तो मैं सबसे पहले उनको प्यार से गले लगा लूंगा। उन्होंने कहा कि जब मैं एमपी बना था तब सचिन 3 साल के थे। मेरा उनके प्रति और उनके परिवार के प्रति स्नेह हैं। मैं 50 साल से देख रहा हूं, ये लोग कांग्रेस मुक्त नहीं कर पाए। चाहे सिंधिया जी हो या पायलट जी हों सब देखिये किस उम्र में सांसद बन गए, मंत्री बन गए। पायलट जी को 10 साल से एक्स्ट्रा सपोर्ट मिला और वो आज घातक हो गया और उन्हें ज़मीनी हकीकत मालूम होती तो ऐसा नहीं करते।
'इतना बड़ा टेप आ गया, मीडिया शांत है'उन्होंने कहा कि इतना बड़ा टेप आ गया, मीडिया शांत है। कांग्रेस का होता तो क्या क्या हो गया होता। गहलोत ने कहा कि हम सबकी ज़िम्मेदारी है देश को चलाने की। बीजेपी को तोड़ फोड़ बंद कर देना चाहिए। पूरे देश-दुनिया में थू-थू हो रही है।