Pahalgam Terror Attack / पक्का हिसाब अब होगा, पाकिस्तान की बर्बादी का भारत ने दिखाया ट्रेलर

पहल्गाम हमले में 28 निर्दोषों की हत्या ने भारत को झकझोर दिया है। सरकार ने पाकिस्तान को सख्त संदेश देते हुए सिंधु जल समझौता रोका, अटारी चौकी बंद की और पाक राजनयिकों को निष्कासित किया। अब देश में सिर्फ एक ही भावना है—पाकिस्तान को निर्णायक जवाब देना होगा।

Pahalgam Terror Attack: जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले ने न सिर्फ 28 निर्दोष लोगों की जान ले ली, बल्कि पूरे हिंदुस्तान को झकझोर कर रख दिया। इस हमले के बाद भारत की जनता और सरकार में जबरदस्त गुस्सा है। पाकिस्तान प्रायोजित इस आतंकवादी हमले को लेकर देश एक सुर में इसकी निंदा कर रहा है, और अब भारत की प्रतिक्रिया केवल निंदा तक सीमित नहीं रहेगी — इसका इशारा भारत सरकार ने साफ तौर पर दे दिया है।

पाकिस्तान ने अपने ही पैरों पर मारी कुल्हाड़ी

हर बार की तरह पाकिस्तान ने एक और नापाक साजिश रची, लेकिन इस बार उसने अपने ही पैरों पर कुल्हाड़ी मार ली है। भारत सरकार ने इस बार हर मोर्चे पर पाकिस्तान को घेरने की ठान ली है। सड़कों पर पाकिस्तान के खिलाफ नारेबाजी हो रही है, तो वहीं संसद और मंत्रालयों में उसे सबक सिखाने की रणनीति पर काम चल रहा है।

सख्त सैन्य और कूटनीतिक कदम

हमले के तुरंत बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में कैबिनेट की सुरक्षा मामलों की समिति (CCS) की आपात बैठक हुई, जहां कई निर्णायक फैसले लिए गए:

  • सिंधु जल समझौते की समीक्षा: भारत ने सिंधु जल समझौते को निलंबित कर दिया है। यह कदम पाकिस्तान की कृषि आधारित अर्थव्यवस्था पर सीधा प्रहार है, क्योंकि उसकी 80% से अधिक खेती सिंधु प्रणाली पर निर्भर है।

  • डिप्लोमैटिक स्ट्राइक: पाकिस्तान के उच्चायोग से सैन्य, वायुसेना और नौसेना सलाहकारों को निष्कासित कर दिया गया है। वहीं, भारत ने इस्लामाबाद में मौजूद अपने सैन्य सलाहकारों को भी वापस बुलाने का निर्णय लिया है।

  • अटारी चौकी बंद: भारत-पाक व्यापार के एक महत्वपूर्ण स्थल अटारी बॉर्डर को तत्काल प्रभाव से बंद कर दिया गया है।

  • वीजा रद्द: पाकिस्तान के नागरिकों को दी गई वीज़ा छूट योजनाएं स्थगित कर दी गई हैं, और पूर्व में जारी वीज़ा भी रद्द कर दिए गए हैं।

डर में जी रहा पाकिस्तान

भारत की इन कार्रवाइयों के बाद पाकिस्तान घबराया हुआ है। उसके रक्षा मंत्री और पूर्व राजनयिक लगातार यह संकेत दे रहे हैं कि भारत किसी भी समय जवाबी हमला कर सकता है। खुफिया सूत्रों और कूटनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि भारत सीमित लेकिन प्रभावशाली सैन्य कार्रवाई की ओर बढ़ सकता है, जैसे कि बालाकोट स्ट्राइक।

भारत का बदला हुआ रुख

इस बार का भारत शांत बैठने वाला नहीं है। प्रधानमंत्री मोदी ने यह साफ कर दिया है कि अब पाकिस्तान को जवाब उसकी ही भाषा में दिया जाएगा। "यह तो सिर्फ ट्रेलर है", यह कहकर भारत ने स्पष्ट कर दिया है कि आगे और कड़े कदम उठाए जाएंगे।

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह का बयान — "इस बार ऐसा जवाब मिलेगा जो दुनिया देखेगी", और गृहमंत्री अमित शाह का यह आश्वासन कि "आतंकियों को बख्शा नहीं जाएगा", आने वाले भारत के रुख की झलक हैं।

निष्कर्ष: अब होगा हिसाब बराबर

हर बार पाकिस्तान अपनी हरकतों से बाज नहीं आता। लेकिन अब भारत का धैर्य जवाब दे रहा है। एक तरफ देश की जनता पाकिस्तान के खिलाफ सड़कों पर उतर चुकी है, वहीं सरकार भी निर्णायक मोर्चे पर आगे बढ़ रही है। आने वाले दिनों में भारत का जवाब केवल आतंकियों तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि आतंक के संरक्षक पाकिस्तान को उसकी भाषा में समझाया जाएगा।