सेना के लिए टेंशन की खबर / आतंकियों के पास स्टील कोर वाली गोलियां सुरक्षाबलों के लिए बड़ी चुनौती, बुलेटप्रूफ जैकेट को भी भेद रहीं

आतंकियों द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली स्टील टिप और स्टील कोर वाली गोलियां (आर्मर पियर्सिंग बुलेट्स) सेना के लिए चुनौती बन गई हैं। हाल ही में एक मुठभेड़ में आतंकवादियों ने गोलियों का इस्तेमाल किया था। ये गोलियां लेवल-3 बुलेट प्रूफ जैकेट को भी चीर कर निकल जा रही हैं। अब सेना ने लेवल -4 बुलेट प्रूफ जैकेट मंगवानी शुरू की है।

Vikrant Shekhawat : May 07, 2022, 08:39 AM
आतंकियों द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली  स्टील टिप और स्टील कोर वाली गोलियां (आर्मर पियर्सिंग बुलेट्स) सेना के लिए चुनौती बन गई हैं। हाल ही में एक मुठभेड़ में आतंकवादियों ने गोलियों का इस्तेमाल किया था। ये गोलियां लेवल-3 बुलेट प्रूफ जैकेट को भी चीर कर निकल जा रही हैं। अब सेना ने लेवल -4 बुलेट प्रूफ जैकेट मंगवानी शुरू की है।


60 से 90 आतंकियों के जम्मू कश्मीर में दाखिल

श्रीनगर स्थित सेना की 15वीं कोर के जीओसी लेफ्टिनेंट जनरल डीपी पांडे ने कहा कि हम किसी भी स्थिति से निपटने में सक्षम हैं। खुफिया एजेंसियों के सूत्रों के अनुसार जम्मू के पुंछ-राजोरी बेल्ट और कश्मीर घाटी के भी कुछ क्षेत्रों से कम से कम 60 से 90 आतंकियों के जम्मू कश्मीर में दाखिल होने की बात सामने आ रही है। इस बात का सबूत जनवरी से अब तक हुई घाटी में अलग-अलग मुठभेड़ों में 15 विदेशी आतंकियों के मारे जाने को बताया जा रहा है। यह सारे विदेशी आतंकी दक्षिण और मध्य कश्मीर में मारे गए, जहां अभी तक केवल स्थानीय आतंकियों को देखा जा रहा था।


इस साल मारे गए 62 आतंकियों में से 15 विदेशी थे

2021 में मारे गए 184 आतंकियों में से केवल 20 विदेशी थे, वहीं वर्ष 2022 के चार महीनों में मारे गए 62 आतंकियों में 15 विदेशी थे। यह बढ़ा हुआ आंकड़ा इस बात का सबूत है कि कश्मीर में कम होते आतंकवाद को फिर से जिंदा करने के लिए पाकिस्तान ने एक बार फिर आतंकियों को कश्मीर घाटी में धकेलना शुरू कर दिया है।  


सुरक्षा बलों के लिए लेवल 4 बुलेट प्रूफ जैकेट मंगवानी शुरू की 

इतना ही नहीं अमेरिकी सेना द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली स्टील टिप और स्टील कोर वाली गोलियां आतंकियों के हाथ लगे हथियारों में से सबसे ज़्यादा घातक हैं, क्योंकि इनके इस्तेमाल से भारतीय सेना में इस्तेमाल होने वाले लेवल 3 बुलेट प्रूफ जैकेट को बेकार कर दिया है। यह गोलियां जिसे आर्मर पियर्सिंग बुलेट्स भी कहा जाता है बुलेट प्रूफ जैकेट चीर कर निकल जाती हैं, इसलिए अब सेना ने आतंक विरोधी ऑपरेशन में सुरक्षा बलों के लिए लेवल 4 बुलेट प्रूफ जैकेट मंगवानी शुरू कर दी है।     


ऐस पता चला बुलेट्स का सच

21 अप्रैल 2022 को बारामुला जिले के कुंजर के मालवाह गांव में हुई मुठभेड़ में आतंकियों द्वारा चलाई गोलियां मेजर की बुलेट प्रूफ जैकेट को चीरते हुई निकल गईं। यह जानकारी ऑपरेशन में शामिल एक अधिकारी ने दी थी। इससे पता चला कि आतंकी स्टील टिप वाली आर्मर पियर्सिंग बुलेट्स से लैस थे। जैसे ही आतंकी हमले में सैनिक संभल पाते तो फंसे विदेशी आतंकी घेरा तोड़कर बचने में कामयाब रहे।