देश / '250KM दूर एग्जाम सेंटर पहुंचने के लिए रात 2 बजे निकलेंगे', छलका NEET-JEE के छात्रों का दर्द

जैसे ही सुप्रीम कोर्ट ने NEET और JEE परीक्षा आयोजित कराने की अनुमति दी, उसके बाद से ही सोशल मीडिया पर छात्रों की नाराजगी पहले से ज्यादा देखने को मिल रही है। वहीं दूसरी ओर छात्रों को विपक्षी नेताओं का सपोर्ट भी मिल रहा है। लेकिन अभी सरकार की ओर से छात्रों के लिए कोई राहत की खबर नहीं आई है।

AajTak : Aug 24, 2020, 07:27 AM
Delhi: जैसे ही सुप्रीम कोर्ट ने NEET और JEE परीक्षा आयोजित कराने की अनुमति दी, उसके बाद से ही सोशल मीडिया पर छात्रों की नाराजगी पहले से ज्यादा देखने को मिल रही है। वहीं दूसरी ओर छात्रों को विपक्षी नेताओं का सपोर्ट भी मिल रहा है। लेकिन अभी सरकार की ओर से छात्रों के लिए कोई राहत की खबर नहीं आई है। ऐसे में कई छात्रों ने आज तक से परीक्षा संबंधित कई परेशानियां शेयर की हैं। वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग ऐप जूम के माध्यम से कई छात्र जुड़े। आइए जानते हैं क्या कहा छात्रों ने।


'एग्जाम सेंटर पहुंचने के लिए रात 2 बजे उठना होगा'

एक छात्रा तान्या गोयल ने बताया, 'परीक्षा देने के लिए घर से 250 किलोमीटर दूर एग्जाम सेंटर मिला है। सही समय पर सेंटर पहुंचने के लिए मुझे रात 2 बजे घर से निकलना होगा, तब जाकर मैं सुबह 7 बजे पहुंच पाऊंगी। इसी के साथ तीन घंटे मास्क लगाकर परीक्षा देना मेरे लिए संभव नहीं है। '

एक छात्र तानिश ने कहा, 'जब मई का समय था और हमारे देश में कोरोना वायरस के केस कुछ हजार थे, उस समय सरकार ने NEET की परीक्षा स्थगित कर दी, लेकिन अब जब दिन के 70,000 के करीब कोरोना वायरस के केस आ रहे हैं, उस समय सरकार परीक्षा आयोजित करना चाहती है।'



'बाढ़ ग्रस्त छात्रों को मिले राहत'

एक छात्रा अंजलि पांडे ने कहा, 'कई दिनों से परीक्षा को लेकर आवाज उठा रहे हैं, लेकिन कोई सुन नहीं रहा है। उन्होंने कहा, हम छात्र परीक्षा रद्द करने की नहीं, बल्कि स्थगित करने की मांग कर रहे हैं। हम चाह रहे हैं कि परीक्षाएं दो महीने बाद आयोजित की जाएं क्योंकि ये उन राज्यों के छात्रों के लिए राहत की खबर होगी जो वर्तमान में बाढ़ ग्रस्त हैं। यदि अभी परीक्षा होती है तो कोरोना वायरस और बाढ़ संकट के बीच उन्हें आने- जाने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ सकता है।'

छात्रा छाया गोयल ने कहा, 'नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) का कहना है कि हर छात्र को उनकी पसंद का एग्जाम सेंटर मिला है। मैं इस बात से सहमत हूं, लेकिन जो सबसे पास एग्जाम सेंटर मिला है, वह भी 100-200 किलोमीटर की दूरी पर है।' 

छात्रों का कहना है कोरोना केस और बाढ़ के दौरान परीक्षा का आयोजन होना छात्रों की हेल्थ के साथ खिलवाड़ है। वहीं नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) जो इन परीक्षाओं का आयोजन कर रही है, उन्होंने यह कहते हुए परीक्षा स्थगित करने से मना कर दिया है कि यह अगले साल के शैक्षणिक कैलेंडर को प्रभावित करेगा।

आपको बता दें, बिहार- असम में बाढ़ का कहर जारी है। ऐसे में यहां के छात्रों के पास परीक्षा केंद्र तक पहुंचने के लिए कोई पर्याप्त साधन नहीं है। छात्रों का कहना है कि बाढ़ के कारण काफी कुछ बर्बाद हो गया है, ऐसे में परीक्षा देने कैसे जाएं?  बता दें, JEE MAIN 1-6 सितंबर से आयोजित होगी, जबकि NEET  की परीक्षा 13 सितंबर को होगी।