देश / राज्यपाल से मिलकर फ्लोर टेस्ट की मांग कर सकती है भाजपा, शिंदे गुट भी गुवाहाटी छोड़ आएगा चौपाटी!

सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद एक तरफ एकनाथ शिंदे गुट ने खुशी जाहिर की है तो दूसरी तरफ भाजपा भी सक्रिय हो गई है। फैसले के बाद शिंदे ने ट्वीट कर कहा कि बालासाहेब ठाकरे के विचारों की विजय हुई है। वहीं भाजपा विधायक देवेंद्र फडणवीस के आवास पर पहुंच गए हैं। सुप्रीम कोर्ट ने शिंदे गुट के विधायकों को बड़ी राहत देते हुए अयोग्य घोषित किए जाने से 12 जुलाई तक राहत दे दी है। वहीं कोर्ट ने फ्लोर टेस्ट पर रोक नहीं लगाई है।

Vikrant Shekhawat : Jun 27, 2022, 08:49 PM
Delhi: सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद एक तरफ एकनाथ शिंदे गुट ने खुशी जाहिर की है तो दूसरी तरफ भाजपा भी सक्रिय हो गई है। फैसले के बाद शिंदे ने ट्वीट कर कहा कि बालासाहेब ठाकरे के विचारों की विजय हुई है। वहीं भाजपा विधायक देवेंद्र फडणवीस के आवास पर पहुंच गए हैं। सुप्रीम कोर्ट ने शिंदे गुट के विधायकों को बड़ी राहत देते हुए अयोग्य घोषित किए जाने से 12 जुलाई तक राहत दे दी है। वहीं कोर्ट ने फ्लोर टेस्ट पर रोक नहीं लगाई है। ऐसे में माना जा रहा है कि राज्यपाल से मिलकर भाजपा फ्लोर टेस्ट की मांग कर सकती है। वहीं शिंदे गुट भी जल्द गुवाहाटी छोड़कर चौपाटी आ सकता है।

बता दें कि उद्धव ठाकरे के पास संख्याबल लगातार कम हो रहा है। ज्यादातर मंत्रियों के शिंदे गुट में शामिल होने के बाद उद्धव ठाकरे ने मंत्रालयों के काम का दोबारा बंटवारा किया है। एकनाथ शिंदे के गुट में 40 से ज्यादा विधायक बताए जा रहे हैं। महाराष्ट्र में कुल 288 विधानसभा सीटें हैं। ऐसे में बहुमत साबित करने के लिए 144 विधायकों का समर्थन चाहिए। मौजूदा सरकार में शिवसेना के 55 विधायक, एनसीपी के 53 और कांग्रेस के 44 विधायक हैं। इसके अलावा निर्दलीय विधायकों का समर्थन भी मौजूदा सरकार को मिला हुआ था। 

भाजपा के क्या हैं समीकरण

भाजपा अगर राज्यपाल से फ्लोर टेस्ट की मांग करती है और अनुमति मिलती है तो इस समय पार्टी मजबूत स्थिति में है। भाजपा के पास अभी 106 विधायक हैं। ऐसे में अब भी पार्टी मुख्य विपक्षी पार्टी है। अगर शिंदे गुट भाजपा के साथ मिलता है तो आसानी से विधानसभा में बहुमत साबित हो जाएगा और सरकार बन जाएगी।

वर्तमान स्थिति की बात करें तो सरकार के साथ अभी एनसीपी के 53, शिवसेना के 17 और कांग्रेस के 44 विधायक हैं। सरकार के खिलाफ संख्याबल ज्यादा दिखायी दे रहा है। निर्दलीय विधायकों को भी मिला लें तो यह संख्या भाजपा के 106, शिंदे के 38 और अन्य 20 विधायक मिलाकर 164 हो जाएगी।