दिल्ली / सभी कानूनी विकल्प खत्म होने तक हिरासत में नहीं लिए जाएंगे एनआरसी से बाहर हुए लोग

गृह मंत्रालय द्वारा जारी बयान में कहा गया है, "जिनके नाम अंतिम एनआरसी (राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर) में नहीं हैं उन्हें तब तक हिरासत में नहीं लिया जाएगा जब तक कानून के तहत उन्हें मिले सभी विकल्प खत्म नहीं हो जाते।" बयान के अनुसार, ऐसे नागरिकों के रोजगार, शिक्षा और संपत्ति जैसे सभी नागरिक अधिकार पहले की तरह सुरक्षित रहेंगे।

केंद्र ने सोमवार को कहा कि राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची में जिन लोगों का नाम नहीं है उन्हें तब तक हिरासत में नहीं लिया जाएगा जब तक उनके सभी कानूनी विकल्प खत्म नहीं हो जाते।

गृह मंत्रालय ने एक बयान में यह भी कहा कि अंतिम एनआरसी में जिन लोगों का नाम नहीं है ऐसे जरुरतमंद लोगों की मदद के लिये असम सरकार ने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के जरिये आवश्यक इंतजाम किये हैं।

बयान के मुताबिक, “जिन लोगों का नाम अंतिम एनआरसी में नहीं हैं उन्हें किसी भी सूरत में तब तक गिरफ्तार नहीं किया जाएगा जब तक कि कानून के तहत उन्हें मिले सभी विकल्प खत्म नहीं हो जाते।”

इसमें कहा गया है कि ऐसे नागरिकों के पूर्व की तरह सभी अधिकार बरकरार रहेंगे जैसे कि किसी दूसरे नागरिक को मिलते हैं। इसमें रोजगार, शिक्षा और संपत्ति का अधिकार शामिल है।

गृह मंत्रालय ने कहा कि 31 अगस्त को प्रकाशित अंतिम एनआरसी में जिन लोगों के नाम नहीं हैं उनके पास सूची के प्रकाशन के 120 दिनों के अंदर विदेशी न्यायाधिकरण (एफटी) में अपील करने के लिये पर्याप्त न्यायिक प्रक्रिया उपलब्ध है।

इसमें कहा गया कि आवेदनों पर सुनवाई के लिये सोमवार से 200 नए एफटी काम करेंगे जो पहले से मौजूद 100 एफटी के अतिरिक्त हैं।