नई दिल्ली / नई यूनिफॉर्म में दिखे राज्यसभा के मार्शल, कलगीदार पगड़ी की जगह लगाई 'पी कैप'

राज्यसभा के सभापति वेंकैया नायडू के पास खड़े होने वाले मार्शलों की यूनिफॉर्म बदल गई है। राज्यसभा के 250वें सत्र में मार्शलों ने गहरे नीले रंग की वर्दी के साथ सिर पर कलगीदार पगड़ी के बजाय नीले रंग की पी-कैप लगाई। बतौर रिपोर्ट्स, कई दशकों से चल रहे इस ड्रेस कोड की बदलाव की मांग मार्शलों ने ही की थी।

NavBharat Times : Nov 18, 2019, 06:18 PM
राज्यसभा के 250वें सत्र के प्रारंभ होने पर सोमवार को आसन का नजारा कुछ बदला सा लग रहा था। यह बदलाव आसन की सहायता के लिए मौजूद रहने वाले मार्शलों की एकदम नई वेषभूषा के कारण महसूस हुआ। आम तौर पर उच्च सदन की बैठक आसन की मदद करने वाले कलगीदार पगड़ी पहने किसी मार्शल के सदन में आकर यह पुकार लगाने से शुरू होती है कि ‘‘माननीय सदस्यों, माननीय सभापति जी।’

सोमवार को इन मार्शलों के सिर पर पगड़ी की बजाय नीले रंग की ‘‘पी-कैप’’ थी। साथ ही उन्होंने नीले रंग की आधुनिक सुरक्षाकर्मियों वाली वर्दी धारण कर रखी थी। राज्यसभा सचिवालय के सूत्रों ने बताया कि इस बारे में किए गए उच्चस्तरीय फैसले के बाद मार्शल के लिए जारी ड्रेस कोड के तहत सदन में तैनात मार्शलों को कलगी वाली सफेद पगड़ी और पारंपरिक औपनिवेशिक परिधान की जगह अब गहरे नीले रंग की वर्दी और कैप पहननी होगी। राज्यसभा सचिवालय के सूत्रों के अनुसार पिछले कई दशकों से चल रहे इस ड्रेस कोड में बदलाव की मांग मार्शलों ने ही की थी।

उल्लेखनीय है कि सभापति सहित अन्य पीठासीन अधिकारियों की सहायता के लिये लगभग आधा दर्जन मार्शल तैनात होते हैं। एक अधिकारी ने बताया कि मार्शलों ने उनके ड्रेस कोड में बदलाव कर ऐसा परिधान शामिल करने की मांग की थी जो पहनने में सुगम और आधुनिक ‘लुक’ वाली हो। इनकी मांग पर को स्वीकार कर राज्य सचिवालय और सुरक्षा अधिकारियों ने नई ड्रेस को डिजायन करने के लिये कई दौर बैठकें कर नये परिधान को अंतिम रूप दिया। सूत्रों के अनुसार मार्शलों ने इस बदलाव पर खुशी जाहिर की है।

बता दें कि, राज्यसभा का यह 250वां सत्र है। इस सदन में 245 सदस्य हैं, वहीं इसका गठन 1952 में किया गया था। 26 नवंबर को संविधान को 70 साल पूरे हो जाएंगे। इस अवसर पर संयुक्त सत्र बुलाया गया है।