Vikrant Shekhawat : Dec 06, 2024, 01:00 PM
India 5G Growth Story: सितंबर 2016 में जब मुकेश अंबानी ने रिलायंस जियो को लॉन्च किया था, तो उन्होंने एक भविष्यवाणी की थी, जिसे लेकर कई लोग आश्चर्यचकित थे। उन्होंने कहा था, "आने वाला भविष्य ऐसा होगा जहां 'Data is New Oil' होगा।" उनका यह बयान आज के डिजिटल युग में पूरी तरह से सही साबित हो रहा है। उनका मतलब था कि जिस तरह से तेल (Oil) वैश्विक अर्थव्यवस्था का एक अहम हिस्सा है, ठीक वैसे ही डेटा का महत्व अब हर व्यक्ति, संगठन और राष्ट्र के लिए बढ़ता जा रहा है। डेटा, वह डेटा जिसे हम हर रोज सोशल मीडिया पर लाइक्स, कमेंट्स, शेयर और पोस्ट के जरिए बड़ी टेक कंपनियों को दे रहे हैं, वही इस डिजिटल युग का "नई ऊर्जा" बन चुका है।रिलायंस जियो ने भारत को 4G और 5G की दुनिया में एक नया मुकाम दिलाया है। यह कंपनी भारत को 5G टेक्नोलॉजी में दुनिया के अग्रणी देशों में से एक बना चुकी है। 2024 के अंत तक भारत में 5G की बुनियादी ढांचे की शुरुआत हो चुकी है और यह देश अब 6G की ओर भी कदम बढ़ा चुका है।भारत की मोबाइल इंटरनेट स्पीड में ऐतिहासिक उछालआज भारत की मोबाइल इंटरनेट स्पीड ने पूरे यूरोप को पीछे छोड़ दिया है। Ookla के Global Speedtest Index में भारत की रैंकिंग मोबाइल इंटरनेट स्पीड के मामले में 26वीं है, जबकि ब्रिटेन की रैंकिंग 53वीं है। यह आंकड़ा हमें यह बताता है कि भारत की मोबाइल इंटरनेट स्पीड अब कई यूरोपीय देशों से भी बेहतर हो गई है। इसके अलावा, भारत की 78 प्रतिशत जनसंख्या के पास मोबाइल कनेक्शन है और 93.61 करोड़ भारतीय इंटरनेट का उपयोग करते हैं। यह साबित करता है कि भारत ने डिजिटलीकरण के मामले में बेहद तेजी से विकास किया है।रिलायंस जियो का यह कमाल है कि भारत 5G टेक्नोलॉजी में ब्रिटेन को पछाड़कर एक नई दिशा में आगे बढ़ चुका है। जियो के लॉन्च के बाद से ही इंटरनेट का उपयोग भारत में ज्यादा सहज और सस्ता हो गया है। साथ ही, भारत में मोबाइल इंटरनेट के उपयोगकर्ता तेजी से बढ़े हैं, जिससे देश में डिजिटल ट्रांजेक्शन और ऑनलाइन सेवाओं की संख्या भी बढ़ी है।रिलायंस जियो की रणनीति और भारत में डिजिटल परिवर्तनरिलायंस जियो की शुरुआत एक क्रांतिकारी कदम था। कंपनी ने भारत में 4G नेटवर्क की शुरुआत की, जबकि इसके प्रतिस्पर्धी कंपनियां अभी भी 3G नेटवर्क पर निर्भर थीं। रिलायंस जियो ने न सिर्फ 4G इंटरनेट की सेवाएं सस्ती कीं, बल्कि उसने 6 महीने तक मुफ्त डेटा और कॉलिंग सेवा प्रदान करके ग्राहकों का ध्यान आकर्षित किया। इस रणनीति ने भारत में डेटा के उपयोग को अभूतपूर्व स्तर तक बढ़ाया। जियो के इस कदम के बाद अन्य टेलीकॉम कंपनियों ने भी 4G और 5G नेटवर्क में निवेश करना शुरू किया।इसके परिणामस्वरूप, भारत में इंटरनेट की कीमतें दुनिया के सबसे सस्ते दरों में शामिल हो गईं। इसके साथ ही, देश में टेलीकॉम कंपनियों के इंटरनेट पर अधिक ध्यान केंद्रित करने के कारण कॉल रेट्स पर निर्भरता घट गई, और डेटा के इस्तेमाल का प्रचलन बढ़ा।भारत 6G की ओर बढ़ते हुएजहां ब्रिटेन और यूरोप के अन्य देश 5G नेटवर्क पर काम कर रहे हैं, वहीं भारत पहले ही 6G टेक्नोलॉजी की तैयारी में जुटा है। ब्रिटेन में Vodafone और Three जैसी टेलीकॉम कंपनियों के मर्जर के दौरान यह शर्त रखी गई है कि उन्हें 5G टेक्नोलॉजी में अरबों डॉलर का निवेश करना होगा, जबकि भारत की स्थिति 5G के बाद 6G की ओर बढ़ने की है। रिलायंस जियो और अन्य भारतीय कंपनियां इस दिशा में काम कर रही हैं, जिससे भारत डिजिटल टेक्नोलॉजी के भविष्य में एक वैश्विक नेता बनने की ओर अग्रसर है।निष्कर्षमुकेश अंबानी का "Data is New Oil" बयान अब एक सच बन चुका है। भारत ने इंटरनेट की सस्ती और तेज सेवाओं के साथ डिजिटल क्रांति को आगे बढ़ाया है। रिलायंस जियो की पहल ने न केवल भारत में 4G और 5G के विकास को तेज किया, बल्कि पूरी दुनिया में भारत की डिजिटल ताकत को एक नई दिशा दी है। भारत आज एक 5G रेडी देश बन चुका है और यह 6G की ओर बढ़ते हुए अपने डिजिटल भविष्य को आकार दे रहा है।