उत्तर प्रदेश / टीवी एंकर हूं, शायद इसलिए जान बच गई: नोएडा में बंदूक की नोक पर लूटे जाने को लेकर पत्रकार

हिंदी खबर के पत्रकार अतुल अग्रवाल ने नोएडा एक्सटेंशन में शनिवार रात 1 बजे बंदूक की नोक पर लूटे जाने की जानकारी देते हुए फेसबुक पर लिखा है, "टीवी एंकर हूं इसलिए जान बच गई शायद।" उन्होंने बताया कि मोटरसाइकल पर आए 5 लोगों ने उनसे ₹5,000-₹6,000 लूट लिए। बकौल अग्रवाल, पत्रकार होने के कारण लुटेरों ने उन्हें छोड़ दिया।

Vikrant Shekhawat : Jun 22, 2021, 12:55 PM
नोएडा: यूपी में अपराध और अपराधी दोनों बेलगाम हो चुके हैं। आम आदमी की कौन कहें यहां राष्ट्रीय स्तर के पत्रकार भी अपराधियों के निशाने पर हैं।

हिंदी खबर न्यूज चैनल के एडिटर इन चीफ अतुल अग्रवाल के साथ नोएडा एक्सटेंशन में लूटपाट की वारदात हुई है। अपराधी अतुल की हत्या भी करना चाहते थे।

उन्होंने अपने छोटे से बेटे का वास्ता दिया तो जैसे तैसे उनकी जान बच गई। अतुल ने इसका खुलासा खुद अपने फेसबुक पोस्ट पर किया है।

अतुल ने लिखा है कि मैं टीवी एंकर हूं, इसलिए शायद मेरी जान बच गई। 19 जून की रात करीब 1 बजे वो नोएडा एक्सटेंशन के राइज पुलिस चौकी के पास से गुजर रहे थे।

पुलिस चौकी से करीब 250-300 मीटर की दूरी पर 02 बाइक पर सवार 05 लड़के मेरी गाड़ी के पास आकर धमक गए।

उनमें से एक लड़का ड्राइविंग डोर के पास आकर दरवाजे पर जोरदार लात मारी। संयोगवश डोर लॉक था, इसलिए खुला नहीं। इसके बाद उसने पिस्तौल निकाल ली। मेरे पास दरवाजा खोलने के अलावा कोई चारा नहीं था।

उसने मुझे नीचे उतार दिया और खुद ड्राइविंग सीट पर जाकर बैठ गया। बाकी के सारे लड़के मुझे कवर कर खड़े हो गए।उनमें से एक तो मुझे भद्दी भद्दी गालियां दे रहा था।

अतुल आगे लिखते हैं कि उनमें से एक लड़का बोल रहा था, गोली मार दे साले को… मैंने कहा कि भाई साहब मेरा एक छोटा सा बेटा है, मुझे गोली मार कर क्या मिलेगा आपको?

आप मेरी कार ले जाइए, जो थोड़े बहुत पैसे हैं, वो ले लिजिए। मैं यहां से पैदल ही चला जाउंगा और किसी से कुछ भी नहीं कहूंगा।

इसके बाद उन लोगों ने गन प्वाईंट पर उन्होंने सारे पैसे ले लिए और कहा कि अब चल चेन, अंगूठी, घड़ी और रुपये निकाल। मैंने कहा कि मुझे सोने से एलर्जी है, इसलिए चेन और अंगूठी नहीं पहनता मैं।

इस पर वो बोला कि चल एटीएम, कार्ड से पैसा निकाल। इस पर मैंने कहा कि मैं कार्ड यूज नहीं करता. कहिये तो पेटीएम कर देता हूं।

इतना बोलते ही उनमें से एक लड़का मेरा गला दबाने लगा।दूसरे लड़के ने उन्हें ऐसा करने से रोक दिया।

इसके बाद उनलोगों ने मेरा मोबाइल मांगा, मुझसे लॉक खुलवाया और कुछ देर के बाद बोला कि तुझे जाने दूं या गोली मार दूं ! मैंने अपने छोटे से बच्चे का वास्ता देते हुए बख्शने की विनती की।

उन्होंने अतुल के साथ लूटपाट की और चलते बनें। अतुल ने ये पोस्ट लिखते हुए कहा कि ये पोस्ट मैं एक पत्रकार के तौर पर नहीं बल्कि एक आदमी के तौर पर लिख रहा हूं।

वहीं दैनिक भास्कर के पत्रकार आदित्य तिवारी ने अतुल के साथ हुई घटना को साझा करते हुए लिखा है कि इसे पढ़ने के बाद कोई भी इंसान सहम जाएगा।

एक वरिष्ठ पत्रकार के साथ जब इस तरह की घटना हो सकती है तो आम आदमी का क्या हाल होगा… समझा जा सकता है।