दिल्ली. एम्स ट्रॉमा सेंटर (AIIMS Trauma Center) में कोविड-19 का इलाज करा रहे 37 वर्षीय पत्रकार (Journalist) की सोमवार अपराह्न अस्पताल की इमारत की चौथी मंजिल से कथित तौर पर नीचे कूदने के बाद मौत हो गई इस मामले में केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन (Dr. Harshvardhan) ने आधिकारिक जांच का आदेश दिया है. जिसके बाद मामले की जांच के लिए एक उच्च स्तरीय समिति (High level committee) का गठन किया गया है.
केन्द्रीय मंत्री हर्षवर्धन ने ट्वीट किया,' मैंने एम्स निदेशक को तुरंत इस घटना की आधिकारिक जांच करने का आदेश दिया, जिसके बाद एक उच्च-स्तरीय समिति का गठन किया गया है. यह समिति 48 घंटे के भीतर अपनी रिपोर्ट देगी.'
अधिकारियों ने बताया कि मृतक पत्रकार एक हिंदी अखबार में काम करता था और उत्तर-पूर्वी दिल्ली के भजनपुरा इलाके में रहता था. पुलिस उपायुक्त (दक्षिण-पश्चिम) देवेंद्र आर्य ने कहा कि यह घटना करीब दो बजे की है. एक व्यक्ति ट्रॉमा सेंटर की चौथी मंजिल से कूद गया, उसे अस्पताल के आईसीयू में भर्ती किया गया था. अस्पताल के अधिकारियों ने कहा कि समर्पित कोविड-19 केंद्र में बदल दिये गए ट्रॉमा सेंटर के डॉक्टरों ने उसका फौरन इलाज शुरू किया लेकिन उसे बचाया नहीं जा सका.
एम्स ने एक बयान जारी किया है जिसमें कहा गया कि पत्रकार को एम्स के जयप्रकाश नारायण अपेक्स ट्रॉमा सेंटर में 24 जून को कोविड-19 की वजह से भर्ती कराया गया था. उसकी हालत में सुधार हो रहा था और उसे आईसीयू से सामान्य वार्ड में स्थानांतरित किये जाने की तैयारी थी.
पूर्व में इसी साल मार्च में जीबी पंत अस्पताल में उसके दिमाग के ट्यूमर का ऑपरेशन हुआ था. बयान में कहा गया कि ट्रॉमा सेंटर में इलाज के दौरान उसे मानसिक दौरे आते थे जिस पर न्यूरोलॉजिस्ट और मनोचिकित्सक ने उसे देखा और दवा दी.
अस्पताल ने बयान में कहा, “परिवार के सदस्यों को उसकी हालत के बारे में लगातार जानकारी दी जाती थी. आज करीब एक बजकर 55 मिनट पर वह टीसी-1 से बाहर भागा जहां वह भर्ती था. अस्पताल के कर्मचारी उसके पीछे भागे और उसे रोकने की कोशिश की. वह चौथी मंजिल पर चला गया और वहां उसने एक खिड़की का शीशा तोड़ नीचे छलांग लगा दी.”
इसमें कहा गया कि पत्रकार को तत्काल एक एंबुलेंस से ट्रॉमा सेंटर के आईसीयू ले जाया गया. उसे बचाने की कोशिश की गई, लेकिन दुर्भाग्य से अपराह्न तीन बजकर 35 मिनट पर उसकी मौत हो गई.