विदेश / डोमिनिका के कोर्ट ने चिकित्सकीय आधार पर मेहुल चोकसी को दी अंतरिम ज़मानत

डोमिनिका के एक कोर्ट ने भगोड़े हीरा कारोबारी और करीब ₹14,000 करोड़ के पीएनबी घोटाले में वांछित मेहुल चोकसी को चिकित्सकीय आधार पर अंतरिम ज़मानत दी है। गौरतलब है कि चोकसी को यह ज़मानत सख्त तौर पर ऐंटीगा और बारबुडा में इलाज करवाने को लेकर मिली है। वहीं, यात्रा के लिए फिट प्रमाणित होने पर उसे डोमिनिका वापस लौटना होगा।

Vikrant Shekhawat : Jul 13, 2021, 09:41 AM
रोसो: भगोड़े हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी को डोमिनिका की अदालत से बड़ी राहत मिल गई है। यहां कोर्ट ने मेहुल चोकसी को अंतरिम बेल लेने की इजाजत दे दी है। बताया जा रहा है कि मेहुल चोकसी को मेडिकल ग्राउंड पर यह बेल मिली है। जमानत मिलने के बाद वो अब एंटीगुआ और बारबूडा की यात्रा कर सकेगा। एंटीगुआ में इलाज कराने के लिए अदालत ने मेहुल चोकसी को बेल दिया है। अदालत ने अपने फैसले में साफ किया है कि यह बेल उसे इसी आधार पर दिया गया है कि जब वो मेडिकल ट्रीटमेंट के बाद यात्रा के लिए फिट घोषित कर दिया जाएगा तब उसे वापस डोमिनिका लौटना होगा।

अदालत ने मेहुल चोकसी को 10,000 कैरेबियन डॉलर अदालत में जमा करवाने के लिए भी कहा है। मेहुल चोकसी की लीगल टीम ने पिछले सप्ताह डोमिनिका हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था और कहा था कि मेहुल चोकसी का स्वास्थ्य लगातार खराब हो रहा है तथा उसे जल्द से जल्द मेडिकल ट्रीटमेंट की जरुरत है। मेहुल चोकसी के वकील विजय अग्रवाल ने सोमवार को कहा कि डोमिनिका की अदालत ने माना कि किसी भी व्यक्ति को अपने इच्छा के मुताबिक कहीं भी जाकर इलाज कराने का अधिकार प्राप्त है। इसी कानूनी पक्ष को देखते हुए अदालत ने मेहुल चोकसी के पक्ष में फैसला सुनाया है।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक कोर्ट में सुनवाई के दौरान मेहुल चोकसी जूम के जरिए से अस्पताल के बिस्तर से पेश हुआ था। बता दें कि इससे पहले मेहुल चोकसी ने तंत्रिका संबंधी (न्यूरोलॉजिकल) स्वास्थ्य समस्या से ग्रस्त होने और इसका इलाज डोमिनिका में उपलब्ध नहीं होने को आधार बनाकर अपनी जमानत याचिका पर जल्द सुनवाई के लिए याचिका दाखिल की थी। इसके अलावा उसने इस याचिका पर जल्द सुनवाई करने का भी आग्रह किया था, जिसे हाईकोर्ट ने स्वीकार कर लिया था।

कैसे भारत आएगा चोकसी?

बहरहाल अदालत के इस फैसले के बाद अब भारतीय एजेंसियों के लिए मुश्किलें खड़ी होती दिख रही हैं। भारत सरकार लगातार डोमिनिका से ही मेहुल चोकसी को भारत वापस लाने की कोशिश में थी। लेकिन अदालत के फैसले के बाद अब मेहुल वापस एंटीगुआ जाएगा। एंटीगुआ के साथ भारत की प्रत्यर्पण संधि नहीं है। दिक्कत यह है कि मेहुल चोकसी खुद को एंटीगुआ का नागरिक बताता है जबकि भारत लगातार यह कहता रहा है कि मेहुल चोकसी ने भारत की नागरिकता छोड़ी नहीं है और वो एंटीगुआ का नागरिक नहीं है। 

बचने के लिए पैंतरे आजमाता है चोकसी

पंजाब नेशनल बैंक में 13,500 करोड़ रुपये के घोटाले के सिलसिले में वांछित 62 वर्षीय मेहुल चोकसी भारत से भागकर 2018 से ही एंटीगुआ में रह रहा है। भारत में प्रत्यर्पण से बचने के लिए मेहुल चोकसी समय-समय पर पैंतरे आजमाता रहता है। वह एंटीगुआ से लापता होने के बाद 23 मई को पड़ोसी देश डोमिनिका में अवैध एंट्री के चलते गिरफ्तार किया गया था। उसे डोमिनिका सरकार द्वारा निषिद्ध अप्रवासी घोषित किया जा चुका है। हालांकि, मेहुल आरोप लगाता रहा है कि उसे अपहरण कर डोमिनिका ले जाया गया। 

अपने खिलाफ कार्यवाही को रद्द करने की मांग की है

भगोड़े मेहुल चोकसी ने पिछले हफ्ते अपने खिलाफ कानूनी कार्यवाही को खत्म करने के लिए डोमिनाका हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। स्थानीय मीडिया ने उस वक्त जानकारी दी थी कि डोमिनिका हाईकोर्ट में एक मामला दायर कर मेहुल चोकसी ने अपने खिलाफ कार्यवाही को रद्द करने की मांग की है और आरोप लगाया है कि डोमिनिका में अवैध प्रवेश के लिए उनकी गिरफ्तारी भारत सरकार के प्रतिनिधियों द्वारा 'निर्धारित' की गई थी।