Vikrant Shekhawat : Oct 31, 2024, 03:40 PM
Diwali Business: दिवाली का त्योहार भारत में केवल धार्मिक और सांस्कृतिक महत्त्व नहीं रखता, बल्कि यह एक बड़ा इकोनॉमिक इवेंट भी है। इस अवसर पर लोग खरीदारी को शुभ मानते हैं और इसलिए ज्यादातर लोग कई महीनों से इस दिन शॉपिंग करने की योजना बनाते हैं। इससे बाजार में रौनक दिखाई देती है, और इसका फायदा हर छोटे-बड़े व्यापारी को मिलता है।
व्यापार का अनुमान
कंफेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) का अनुमान है कि इस साल दिवाली पर देशभर में लगभग 4.25 लाख करोड़ रुपए का व्यापार होगा। यह आंकड़ा न केवल बड़े शहरों के लिए है, बल्कि टियर-1 और टियर-2 शहरों में भी इस साल अच्छा कारोबार होने की उम्मीद है। लोग विभिन्न प्रकार के सामान पर खर्च करने के लिए तैयार हैं, जिससे बाजार में उत्सव का माहौल बनता है।खरीदारी की प्राथमिकताएं
टाटा फिनटेक की मार्केट ब्रू द्वारा किए गए एक शोध के अनुसार, दिवाली पर यदि पूरे देश में 100 रुपए का कारोबार होता है, तो भारतीयों के द्वारा सबसे ज्यादा खर्च ऑटोमोबाइल, इलेक्ट्रॉनिक गुड्स आदि पर होगा। इस पर खर्च 25 रुपए के बराबर तक जा सकता है। इसके बाद, भारतीयों के 13 रुपए फूड और ग्रॉसरी पर खर्च करने की उम्मीद है।इस साल सोने की बढ़ती कीमतों के कारण ज्वेलरी पर 9 रुपए यानी 9 प्रतिशत तक का खर्च किया जा सकता है। इसके अलावा, दिवाली पर खर्च की अन्य श्रेणियां इस प्रकार हैं:- कपड़े या टेक्सटाइल पर 12 रुपए
- मेवा और मिठाई पर 4 रुपए
- होम डेकोर पर 3 रुपए
- कॉस्मेटिक्स पर 6 रुपए
- मोबाइल एवं गैजेट्स पर 8 रुपए
- पूजा के सामान पर 3 रुपए
- किचन के सामान पर 3 रुपए
- बेकरी प्रोडक्ट्स पर 2 रुपए
- गिफ्ट आइटम्स पर 8 रुपए
- फर्नीचर पर 4 रुपए