Vikrant Shekhawat : Jul 08, 2021, 09:26 PM
New Delhi: मोदी सरकार के कैबिनेट विस्तार के बाद पहली बार कैबिनेट ब्रीफिंग गुरुवार शाम को हुई। इस दौरान सूचना प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर, कृषि मंत्री नरेंद्र तोमर और स्वास्थ्य मंत्री स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने प्रेस के सामने सरकार कैबिनेट के फैसलों के बारे में बताया। इस दौरान स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने इमरजेंसी हेल्थ पैकेज की घोषणा की। उन्होंने कहा कि 23100 करोड़ रुपए की रकम कोरोना की तीसरी वेव से निपटने में मददगार होगी। वहीं प्रेस कांफ्रेंस में मौजूद कृषि मंत्री ने प्रदर्शनकारी किसानों से बातचीत का रास्ता अपनाने की अपील की। उन्होंने कहा कि मंडियां खत्म नहीं होंगी बल्कि इन्हें और मजबूत किया जाएगा। एक लाख करोड़ मंडी के जरिए किसानों तक पहुंचेगा। खत्म नहीं होंगी कृषि मंडियांप्रेस कांफ्रेंस के दौरान कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने प्रदर्शनकारी किसानों से भी अपील की। उन्होंने कहा कि मंडियां खत्म नहीं होंगी, मंडियों को और मजबूत किया जाएगा। साथ ही उन्होंने कहा कि एक लाख करोड़ रुपए के फंड एपीएमसी इस्तेमाल करेगी। उन्होंने कहा कि सरकार ने दो करोड़ का ऋण किसान इंफ्रास्ट्रक्चर फंड के लिए दिया है। कृषि मंत्री ने कहा कि नारियल विकास बोर्ड 1981 में अस्तित्व में आया था। कहा कि बोर्ड के एक्ट में सुधार होगा। इसमें अध्यक्ष गैर शासकीय होगा। एग्जीक्यूटिव पावर के लिए सीईओ होगा। केंद्र सरकार द्वारा नामित छह होंगे। आंध्र प्रदेश और गुजरात भी इसके मेंबर होंगे।थर्ड वेव से निपटने को खास पैकेजइस दौरान स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने कहा कि पहली लहर के दौरान जारी किए गए कोरोना पैकेज का पूरी तरह से इस्तेमाल हुआ है। उन्होंने कहा कि कोरोना पैकेज से ही चार लाख से ज्यादा आक्सीजन सपोर्टेड बेड बने हैं। साथ ही 10111 डेडिकेटेड कोविड केयर सेंटर की स्थापना भी इसी फंड से की गई है। उन्होंने अगले नौ महीनों के लिए स्वास्थ्य सुविधाओं की तैयारी का योजना के बारे में जानकारी दी। साथ ही कहा कि यह मैक्सिमम टाइम ड्यूरेशन है, हमारी कोशिश होगी अगले दो से तीन महीनों में इस पर एक्शन प्लान हो।23100 करोड़ से यह होगाकोरोना की तीसरी वेव के लिए स्वास्थ्य मंत्री ने 23 हजार, 100 करोड़ के पैकेज का ऐलान किया। कहा कि इस फंड को केंद्र और राज्य सरकारें मिलकर इस्तेमाल करेंगी। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि इस फंड से हर राज्य की सीएचसी पीएचसी में 2 लाख 44 हजार बेड बनाए जाएंगे। साथ इस फंड का इस्तेमाल पांच हजार और 2500 बेड का ओपन हॉस्पिटल बनाने के लिए भी किया जाएगा। उन्होंने कहा कि कोरोना का कहर आगे न झेलना पड़े इसके लिए 20 हजार नए आईसीयू बेड भी बनेंगे। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि कोरोना की सेंकंड वेव के दौरान आक्सीजन सप्लाई की प्रॉब्लम देखने को मिली थी। इसलिए अब हर जिले में 10 हजार लीटर आक्सीजन स्टोरेज की व्यवस्था की जाएगी। साथ ही डिस्ट्रिक्ट लेवल पर दवाओं के स्टॉक की योजना भी है। 736 जिलों में पीडियाट्रिक यूनिट बनाने का प्रावधान का भी किया गया है। उन्होंने कहा कि अगर मेडिकलकर्मियों की जरूरत पड़ती है तो इस जुलाई से अगली मार्च तक सभी मेडिकल स्टूडेंट्स की सेवा राज्य सरकारें ले सकेंगी।