Elon Musk News / Musk की Starlink और Amazon की सैटेलाइट सर्विस पर संकट!

Elon Musk की Starlink और Amazon Web की सैटेलाइट इंटरनेट सेवाओं में भारत में देरी हो सकती है। दूरसंचार विभाग (DoT) ने सुरक्षा संबंधी अनुपालन जल्द पूरा करने की मांग की है। सरकार स्पेक्ट्रम आवंटन पर विचार कर रही है, जिसमें सुरक्षा मानकों का पालन अनिवार्य है। Airtel और Jio को पहले ही स्वीकृति मिल चुकी है।

Vikrant Shekhawat : Nov 01, 2024, 06:20 PM
Elon Musk News: भारत में Elon Musk की Starlink और Amazon Web की सैटेलाइट इंटरनेट सेवाएं शुरू होने में देरी हो सकती है। इसकी मुख्य वजह भारत सरकार के दूरसंचार विभाग (DoT) द्वारा की गई नई मांगें हैं। DoT ने इन कंपनियों से सुरक्षा संबंधित अनुपालन और आवश्यक दस्तावेज जल्द से जल्द प्रस्तुत करने को कहा है, ताकि उनकी आवेदन प्रक्रिया को आगे बढ़ाया जा सके। फिलहाल Airtel की Eutelsat Oneweb और Jio की SES सैटेलाइट सेवाओं को विभाग से स्वीकृति मिल गई है, जबकि Starlink और Amazon Web को कुछ शर्तों का पालन करना होगा।

DoT की विशेष मांगें

DoT ने Starlink और Amazon से सुरक्षा मानकों के तहत कवरेज क्षेत्र, डेटा साझा करने, और संवेदनशील क्षेत्रों में संचालन को लेकर जरूरी जानकारी देने का निर्देश दिया है। विभाग ने बताया कि भारत के कुछ क्षेत्र सुरक्षा के लिहाज से काफी संवेदनशील हैं, और इन क्षेत्रों में सेवा प्रदान करने से पहले कंपनियों को संबंधित दस्तावेज प्रस्तुत करने होंगे। ये प्रक्रिया भारतीय डेटा सुरक्षा और निगरानी तंत्र को मजबूत करने के उद्देश्य से की जा रही है।

ईटी की रिपोर्ट के अनुसार, Starlink और Amazon Web ने अभी तक सुरक्षा अनुपालन के दस्तावेज जमा नहीं किए हैं। DoT की ओर से दोनों कंपनियों को इसके लिए पत्र लिखा गया है और कुछ दिनों में रिमाइंडर भेजने की योजना भी है। एक अधिकारी के अनुसार, अनुपालन संबंधी शर्तों को पूरा करने पर ही इनका आवेदन आगे बढ़ाया जाएगा, अन्यथा सेवाओं की अनुमति में देरी हो सकती है।

सेवाएं शुरू करने के लिए अन्य बाधाएँ

Elon Musk की Starlink ने अक्टूबर 2022 में भारत के लिए ग्लोबल मोबाइल पर्सनल कम्युनिकेशन सैटेलाइट सर्विस (GMPCS) लाइसेंस के लिए आवेदन किया था, जबकि Amazon Web ने पिछले वर्ष अपने आवेदन प्रस्तुत किया। वहीं, TRAI भी अन्य स्टेकहोल्डर्स से स्पेक्ट्रम प्राइसिंग और अन्य आवश्यक शर्तों पर फीडबैक ले रहा है ताकि प्रक्रिया में पारदर्शिता और न्यायिकता सुनिश्चित हो सके।

भारत में बढ़ता प्रतिस्पर्धा का क्षेत्र

भारतीय सैटेलाइट इंटरनेट बाजार में पहले से ही Airtel, Jio, और Vodafone-Idea जैसी कंपनियां मौजूद हैं जो अपनी मोबाइल सेवाओं के साथ-साथ सैटेलाइट इंटरनेट सेवाएं भी प्रदान करने की योजना में हैं। Amazon Web और Starlink के बाजार में प्रवेश के साथ, यह क्षेत्र और भी प्रतिस्पर्धी बन जाएगा।

भारत सरकार के इस कदम से सैटेलाइट इंटरनेट बाजार में नई संभावनाओं के द्वार खुल सकते हैं, हालांकि Starlink और Amazon को इन बाधाओं का समाधान कर ही भारत में सेवा शुरू करने की अनुमति मिल सकेगी।