AMAR UJALA : Jul 25, 2020, 09:44 AM
Delhi: डॉक्टरों का दावा है कि स्वास्थ्य जोखिम और अपने परिजनों की भविष्य में जरूरतों को देखते हुए ठीक हो चुके मरीज प्लाज्मा दान करने से कतरा रहे हैं। दरअसल सरकार ने ठीक हो चुके मरीजों से 2 जुलाई को प्लाज्मा दान देने की अपील की थी, लेकिन अब तक महज 320 लोगों ने ही प्लाज्मा दान किया है, जबकि 23 जुलाई तक एक लाख लोग कोरोना से ठीक हुए हैं।
मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बृहस्पतिवार को कहा था कि सरकार मरीजों को मुफ्त प्लाज्मा उपलब्ध कराएगी, मरीजों को इन्हें खरीदना नहीं होगा। दिल्ली सरकार ने 2 जुलाई को अपने तरह का अनोखा प्लाज्मा बैंक आईएलबीएस शुरू किया था। एक हफ्ते बाद एलएनजेपी अस्पताल में भी ऐसे ही बैंक की शुरुआत की गई लेकिन इसको लेकर लोगों का रुझान बेहद ठंडा रहा। आईएलबीएस में पहले दिन 10 दानकर्ता आए और अब औसत 15 लोग रोज प्लाज्मा दान कर रहे हैं। ऐसे अब तक करीब 300 लोगों ने प्लाज्मा दान किया है। डॉक्टरों का मानना है कि जबकि इसमें किसी तरह का खतरा नहीं है। फिर भी लोग किसी तरह का स्वास्थ्य जोखिम नहीं उठाना चाहते हैं इस लिए प्लाज्मा दान करने नहीं आ रहें। वहीं कुछ लोग शायद भविष्य में अपने परिजनों की जरूरत के लिए अभी प्लाज्मा दान नहीं करना चाहते।
मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बृहस्पतिवार को कहा था कि सरकार मरीजों को मुफ्त प्लाज्मा उपलब्ध कराएगी, मरीजों को इन्हें खरीदना नहीं होगा। दिल्ली सरकार ने 2 जुलाई को अपने तरह का अनोखा प्लाज्मा बैंक आईएलबीएस शुरू किया था। एक हफ्ते बाद एलएनजेपी अस्पताल में भी ऐसे ही बैंक की शुरुआत की गई लेकिन इसको लेकर लोगों का रुझान बेहद ठंडा रहा। आईएलबीएस में पहले दिन 10 दानकर्ता आए और अब औसत 15 लोग रोज प्लाज्मा दान कर रहे हैं। ऐसे अब तक करीब 300 लोगों ने प्लाज्मा दान किया है। डॉक्टरों का मानना है कि जबकि इसमें किसी तरह का खतरा नहीं है। फिर भी लोग किसी तरह का स्वास्थ्य जोखिम नहीं उठाना चाहते हैं इस लिए प्लाज्मा दान करने नहीं आ रहें। वहीं कुछ लोग शायद भविष्य में अपने परिजनों की जरूरत के लिए अभी प्लाज्मा दान नहीं करना चाहते।