Vikrant Shekhawat : Jun 25, 2021, 06:59 AM
नई दिल्ली: Petrol Prices Latest Update: पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों से आम आदमी की जेब जल रही है, तो दूसरी ओर सरकार ने ये कहते हुए पल्ला झाड़ लिया है कि कीमतें ग्लोबल क्रूड ऑयल से नियंत्रित होती हैं, इसलिए हम कुछ नहीं कर सकते। तो क्या वाकई में कोई रास्ता नहीं है जिससे तेल की कीमतें घटाई जा सकें, या भविष्य में रेट घटने की कोई संभावना दिख रही है। इस पर तमाम ब्रोकरेज हाउस और एक्सपर्ट्स की एक आम राय है कि कच्चा तेल सस्ता नहीं होगा। OPEC+ देशों की बैठक पर नजर ब्रेंट क्रूड बीते एक साल में 26 डॉलर प्रति बैरल तक महंगा हो चुका है। जून 2020 में क्रूड ऑयल 40 डॉलर प्रति बैरल के भाव पर था और आज ये 76 डॉलर प्रति बैरल के पार ट्रेड कर रहा है। पूरी दुनिया में कच्चे तेल की बढ़ती कीमतों को लेकर चिंता है। अब सबकी नजरें 1 जुलाई को होने वाली OPEC+ की बैठक पर है। जिसमें अगस्त में उत्पादन पॉलिसी को लेकर फैसला होना है। रूस क्रूड ऑयल की सप्लाई बढ़ाने के पक्ष में है।125 रुपये तक पहुंचेंगे पेट्रोल के दाम अब अगर OPEC+ देश उत्पादन सप्लाई बढ़ाने का फैसला करते हैं तो क्या भारत में पेट्रोल-डीजल की कीमतें कम होंगी। इस पर ऑयल एक्सपर्ट अरविन्द मिश्रा कहते हैं डॉलर की तुलना में रुपये में लगातार जारी गिरावट से पहले भी तेल खरीदी के मोर्चे पर राजस्व का दबाव बना हुआ है, इस पर सरकार टीकाकरण अभियान भी संचालित कर रही है, ऐसे में सरकार तेल की कीमतों में किसी तरह की राहत देगी इसकी उम्मीद कम ही है। उनका कहना है कि इस हिसाब से इस साल दिसंबर तक पेट्रोल के दाम 125 रुपये प्रति लीटर तक पहुंच सकते हैं। पेट्रोल के दाम अभी और बढ़ेंगेONGC के पूर्व चेयरमैन, आर एस शर्मा का कहना है कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल में तेजी जारी रहेगी, जिसका सीधा असर भारत में उत्पादों की महंगाई पर पड़ेगा। सरकार के पास ड्यूटी में राहत देने को लेकर न तो इस बात की छूट है और न कोई इरादा है। इसलिए उपभोक्ताओं को अभी और महंगाई के लिए तैयार रहना चाहिए, कीमतें अभी किस हद तक बढ़ेंगी, ये कहना मुश्किल है।
100 डॉलर तक जा सकता है कच्चा तेलकच्चे तेल की कीमतों में जून से तेजी की शुरुआत हुई थी, देखते ही देखते कीमतें 76 डॉलर तक पहुंच गई हैं। Bank of America का अनुमान है कि साल 2022 तक क्रूड का भाव 100 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच जाएगा। दूसरे ब्रोकेरेज हाउस गोल्डमैन सैक्स का प्रोजेक्शन है कि ब्रेंट क्रूड दूसरी छमाही में 80 डॉलर प्रति बैरल तक जा कता है, जबकि CITI ने 2021 की चौथी तिमाही का लक्ष्य बढ़ाकर 85 डॉलर प्रति बैरल कर दिया है।
ईरान-अमेरिका के बीच सहमति पर नजरईरान पर अमेरिका प्रतिबंधों से भी कच्चे तेल में तेजी है। अगर ईरान और अमेरिका के बीच न्यूक्लियर डील को लेकर कोई सहमति बनती है और अमेरिका प्रतिबंधों में ढील देता है तो ईरान सप्लाई को बढ़ा सकता है, लेकिन इसे लेकर दोनों देशों के बयान बिल्कुल अलग अलग है। इसलिए सप्लाई तुरंत बढ़ेगी इसे लेकर सवाल अब भी बना हुआ है।
100 डॉलर तक जा सकता है कच्चा तेलकच्चे तेल की कीमतों में जून से तेजी की शुरुआत हुई थी, देखते ही देखते कीमतें 76 डॉलर तक पहुंच गई हैं। Bank of America का अनुमान है कि साल 2022 तक क्रूड का भाव 100 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच जाएगा। दूसरे ब्रोकेरेज हाउस गोल्डमैन सैक्स का प्रोजेक्शन है कि ब्रेंट क्रूड दूसरी छमाही में 80 डॉलर प्रति बैरल तक जा कता है, जबकि CITI ने 2021 की चौथी तिमाही का लक्ष्य बढ़ाकर 85 डॉलर प्रति बैरल कर दिया है।
ईरान-अमेरिका के बीच सहमति पर नजरईरान पर अमेरिका प्रतिबंधों से भी कच्चे तेल में तेजी है। अगर ईरान और अमेरिका के बीच न्यूक्लियर डील को लेकर कोई सहमति बनती है और अमेरिका प्रतिबंधों में ढील देता है तो ईरान सप्लाई को बढ़ा सकता है, लेकिन इसे लेकर दोनों देशों के बयान बिल्कुल अलग अलग है। इसलिए सप्लाई तुरंत बढ़ेगी इसे लेकर सवाल अब भी बना हुआ है।