PM MODI / पीएम मोदी ने किया गोबर धन प्लांट का लोकार्पण, दो साल में 75 और शहरों में लगेंगे बायो सीएनजी प्लांट

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को इंदौर में बने एशिया के सबसे बड़े गोबर धन प्लांट का वर्चुअली लोकार्पण किया। इस दौरान पीएम मोदी ने कई बड़ी घोषणाएं की। उन्होंने कहा कि यह प्लांट दूसरे शहरों को प्रेरणा देगा। अगले दो साल में 75 बड़े शहरों में इस प्रकार के बायो सीएनजी प्लांट बनाए जाएंगे। यह अभियान भारत के शहरों को स्वच्छ बनाने, प्रदूषण रहित बनाने, क्लीन एनर्जी की दिशा में बहुत मदद करेगा।

Vikrant Shekhawat : Feb 19, 2022, 03:10 PM
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को इंदौर में बने एशिया के सबसे बड़े गोबर धन प्लांट का वर्चुअली लोकार्पण किया। इस दौरान पीएम मोदी ने कई बड़ी घोषणाएं की। उन्होंने कहा कि यह प्लांट दूसरे शहरों को प्रेरणा देगा। अगले दो साल में 75 बड़े शहरों में इस प्रकार के बायो सीएनजी प्लांट बनाए जाएंगे। यह अभियान भारत के शहरों को स्वच्छ बनाने, प्रदूषण रहित बनाने, क्लीन एनर्जी की दिशा में बहुत मदद करेगा।  

प्रधानमंत्री मोदी ने वर्चुअली ही इस बायो सीएनजी प्लांट के लोकार्पण में भाग लिया। उन्होंने कहा कि गोबर धन बायो सीएनजी प्लांट से इंदौर को प्रतिदिन 17 से 18 हजार किलो बायो सीएनजी प्लांट मिलेगी तो इससे प्रदूषण कम होगा। इस प्लांट में जो जैविक खाद बनेगी, उससे हमारी धरती मां को भी नया जीवन मिलेगा। हमारी धरती का कायाकल्प होगा। एक अनुमान है कि इस प्लांट में जो सीएनजी बनेगी, उससे इंदौर शहर में हर रोज करीब-करीब 400 बसें चलाई जा सकेंगी। इस प्लांट से सैकड़ों युवाओं को किसी न किसी रूप से रोजगार भी मिलने वाला है। यह ग्रीन जॉब्स बढ़ाने में भी मददगार होगा। 

इंदौर की सफाई देखने आते हैं लोग 

पीएम मोदी ने कहा कि 2014 की तुलना में शहरी कूड़े के निसरण की क्षमता चार गुना तक बढ़ चुकी है। सिंगल यूज प्लास्टिक से मुक्ति दिलाने के लिए 1600 से अधिक निकायों में मटेरियल रिकवरी फेसिलिटी भी तैयार हो रही है। स्चव्छ होते शहर से नई संभावना जन्म लेती है। जब शहर स्वच्छ होंगे, तो दूसरी जगह से लोगों को आने का मन करेगा। कितने ही लोग तो केवल यह देखने इंदौर आते हैं कि यहां सफाई में क्या काम हुआ है। जहां स्वच्छता होती है, पर्यटन होता है। पूरी नई अर्थव्यवस्था चल पड़ती है। हाल ही में इंदौर ने वाटर प्लस होने की उपलब्धि हासिल की है। यह अन्य शहरों को दिशा देने का काम करेगा। जहां जल स्रोत साफ होते हैं। नाले का गंदा पानी उनमें नहीं गिरता, तो एक अलग ही जीवंत ऊर्जा उस शहर में आ जाती है। सरकार का प्रयास है कि भारत के ज्यादा से ज्यादा शहर वाटर प्लस बने। इसके लिए स्वच्छ भारत मिशन के दूसरे चरण पर जोर दिया जा रहा है। एक लाख से कम आबादी वाले नगर निकायों में गंदे पानी के ट्रीटमेंट की सुविधाएं बढ़ाई जा रही है।  


सफाईकर्मियों का आभार

पीएम मोदी ने इस अवसर पर इंदौर समेत देशभर के सफाईकर्मियों का आभार जताया। इंदौर की जागरुक बहनों ने कूड़े के प्रबंधन को अलग मुकाम पर पहुंचा दिया है। कूड़े को छह हिस्सों में अलग-अलग करते हैं। इससे कूड़े की प्रोसेसिंग और रीसाइकलिंग ठीक से हो सकती है। स्वच्छता के साथ-साथ रीसाइकिलिंग के संस्कारों को सशक्त बनाना देश की बड़ी सेवा है। यही तो लाइफ (LIFE) यानी लाइफस्टाइल फॉर एनवायरनमेंट का दर्शन है। जीवन जीने का तरीका है। इंदौर के साथ ही देशभर के लाखों सफाईकर्मियों का आभार व्यक्त करना चाहता हूं। सर्दी-गर्मी हो, सुबह-सुबह निकल पड़ते हैं अपने शहर को स्वच्छ बनाने में। कोरोना के मुश्किल समय में भी जो सेवा भाव दिखाया है, उसने कितने ही लोगों का जीवन बचाने में मदद की है। पूरा देश सफाईकर्मी भाई-बहन का अत्यंत ऋणी है।

प्रयागराज के कुंभ को मिली नई पहचान

पीएम मोदी ने प्रयागराज के कुंभ मेले का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि प्रयागराज कुंभ की दुनिया में नई पहचान बनी है। पहले तो कुंभ की पहचान साधु-महात्माओं के लिए होती थी। पहली बार उत्तर प्रदेश में योगी जी के नेतृत्व में प्रयागराज के कुंभ की पहचान स्वच्छ कुंभ के तौर पर हुई। दुनियाभर के अखबारों ने इस पर कुछ न कुछ लिखा। जब मैं पवित्र स्नान के लिए गया था, तब स्नान के बाद इन सफाईकर्मियों के लिए इतना अहोभाव था कि इन सफाईकर्मियों के पैर धोए थे। उनका सम्मान किया था। दिल्ली से इंदौर के हर सफाईकर्मी भाई-बहन को आदरपूर्वक प्रणाम करता हूं। उनका नमन करता हूं। 

बच्चों के योगदान को भी किया याद

मोदी ने कहा कि सफाईकर्मियों के साथ ही बालसेना ने भी शहरों को स्वच्छ बनाने में मदद की है। तीन-तीन चार-चार साल के बच्चे आज अपने दादा को कहते हैं कि कूड़ा यहां नहीं फेंकना है। बालसेना ने जो यह काम किया है, यह भी हमारे भावी भारत की नींव को मजबूत करने का काम करेगी। 

'सिर्फ सेव का ही शौक नहीं, सेवा करना भी आता है'

मोदी ने कहा कि समय के साथ इंदौर बदला। ज्यादा अच्छे के लिए बदला। लेकिन, देवी अहिल्या जी की प्रेरणा को इंदौर ने कभी भी खोने नहीं दिया। देवी अहिल्या जी के साथ ही इंदौर का नाम आते ही आज मन में स्वच्छता आती है। इंदौर का नाम आते ही नागरिक कर्तव्य मन में आता है। जितने अच्छे इंदौर के लोग होते हैं, उतना ही अच्छा उन्होंने अपने शहर को बना दिया है। इंदौर के लोग सिर्फ सेव के शौकीन नहीं है। यहां के लोगों को अपने शहर की सेवा करना भी आता है। आज का दिन स्वच्छता के लिए है। इंदौर के अभियान को एक नई ताकत देने वाला है। इंदौर को आज गीले कचरे से बायोसीएनजी बनाने का जो गोबर धन प्लांट मिला है, उसके लिए आप सभी को बहुत बहुत बधाई।

मध्य प्रदेश सरकार गोबर खरीदेगी

कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि हमारा प्रदेश प्रधानमंत्री के वेस्ट-टू-वेल्थ के मंत्र को पूरी तरह से अमल करने का प्रयत्न कर रहा है। इसका उदाहरण इंदौर का गोबर-धन बायो सीएनजी प्लांट है। इंदौर अद्भुत शहर है। यह एकमात्र ऐसा शहर है, जो 6 प्रकार के कचरों को 100 प्रतिशत अलग-अलग करता है। इंदौर में जीरो वेस्ट कॉलोनी, जीरो वेस्ट मार्केट, जीरो वेस्ट वार्ड बनाए जा रहे हैं। सिंगल यूज प्लास्टिक को पूरी तरह से बैन किया गया है। इस बायो सीएनजी प्लांट में 550 मीट्रिक टन प्रतिदिन गीले कचरे का निपटान किया जाएगा। इसके साथ-साथ गोबर का भी उपयोग किया जाएगा। हम आस-पास के क्षेत्रों से गोबर भी खरीदेंगे। गोबर और कचरा दोनों को धन बनाने का काम यह गोबर-धन प्लांट करेगा।