India-Canada Relations / तल्खी के लिए सिर्फ ट्रूडो जिम्मेदार... भारत का कनाडा PM के कबूलनामे पर पलटवार

भारत ने हरदीप सिंह निज्जर हत्याकांड में कनाडाई पीएम जस्टिन ट्रूडो के आरोपों को खारिज किया है। विदेश मंत्रालय ने कहा कि ट्रूडो ने कोई ठोस सबूत नहीं दिए, केवल खुफिया जानकारी साझा की। भारत ने आरोपों को राजनीति से प्रेरित बताया और कनाडा के छह राजनयिकों को निष्कासित किया।

Vikrant Shekhawat : Oct 17, 2024, 11:14 AM
India-Canada Relations: भारत और कनाडा के बीच जारी कूटनीतिक तनातनी ने हाल के दिनों में और गंभीर मोड़ ले लिया है। खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो के बयानों के बाद भारत ने तीखा पलटवार किया है। भारतीय विदेश मंत्रालय ने स्पष्ट किया कि ट्रूडो के आरोप न केवल बेबुनियाद हैं, बल्कि उनकी राजनीति से प्रेरित हैं। भारत का यह रुख स्पष्ट है कि कनाडा द्वारा लगाए गए आरोपों का कोई ठोस आधार नहीं है, और इनका उद्देश्य केवल भारत को बदनाम करना है।

ट्रूडो की स्वीकारोक्ति और भारत की प्रतिक्रिया

कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में भारत के खिलाफ गंभीर आरोप लगाए थे। उन्होंने भारत पर निज्जर की हत्या में संलिप्तता का आरोप लगाया, लेकिन बाद में स्वीकार किया कि उन्होंने भारत को इस मामले में कोई ठोस सबूत नहीं दिए थे, केवल खुफिया जानकारी दी थी। इस स्वीकारोक्ति के बाद, भारतीय विदेश मंत्रालय ने कड़ा रुख अपनाया। प्रवक्ता रंधीर जायसवाल ने कहा, "हम लगातार यह बात कहते आ रहे हैं कि कनाडा ने हमें कोई पुख्ता सबूत नहीं दिए। उनके आरोपों का आधार केवल खुफिया सूचनाएं हैं, जो कि किसी निष्कर्ष पर पहुंचने के लिए पर्याप्त नहीं हैं।"

भारत का कनाडा पर पलटवार

भारत ने न केवल ट्रूडो के आरोपों को खारिज किया, बल्कि इसे कनाडा की घरेलू राजनीति से प्रेरित कदम बताया। भारत ने कहा कि ट्रूडो सरकार देश के अंदर वोट बैंक की राजनीति कर रही है, और इसी कारण से भारत पर इस तरह के निराधार आरोप लगा रही है। भारत के अनुसार, उसने कनाडा से कई बार सबूत की मांग की, लेकिन हर बार जवाब में केवल खुफिया सूचनाएं ही दी गईं। भारत का कहना है कि ऐसी सूचना पर गंभीर आरोप लगाना किसी भी तरह से न्यायसंगत नहीं है।

कूटनीतिक कार्रवाई: राजनयिक निष्कासन

भारत और कनाडा के बीच जारी इस विवाद ने कूटनीतिक स्तर पर भी खटास पैदा कर दी है। इस विवाद के चलते भारत ने कनाडा के छह राजनयिकों को निष्कासित कर दिया है, जिन्हें 19 अक्टूबर तक भारत छोड़ने का आदेश दिया गया है। इसके अलावा, भारत ने अपने उच्चायुक्त को भी कनाडा से वापस बुलाने का निर्णय लिया है। यह कार्रवाई भारत के कड़े रुख को दर्शाती है कि वह ऐसे निराधार आरोपों को बर्दाश्त नहीं करेगा।

निज्जर हत्याकांड: विवाद की जड़

पिछले साल जून में ब्रिटिश कोलंबिया के सरे में खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। इसके बाद, कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने आरोप लगाया कि इस हत्या में भारतीय एजेंट शामिल थे। इस आरोप के बाद से ही भारत और कनाडा के रिश्तों में तल्खी बढ़ गई है। हालांकि, भारत ने शुरू से ही इन आरोपों को निराधार बताते हुए खारिज किया है और इसे कनाडाई राजनीति का हिस्सा बताया है।

निष्कर्ष

कनाडा और भारत के बीच जारी यह विवाद दोनों देशों के रिश्तों पर गंभीर असर डाल रहा है। जहां कनाडा अपने आरोपों पर अड़ा हुआ है, वहीं भारत ने इन आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है और कनाडा पर राजनीतिक स्वार्थ साधने का आरोप लगाया है। दोनों देशों के बीच कूटनीतिक संघर्ष का यह नया अध्याय एक गहन मुद्दे की ओर इशारा करता है, जिसमें न केवल अंतरराष्ट्रीय संबंध, बल्कि घरेलू राजनीति भी अहम भूमिका निभा रही है।