Vikrant Shekhawat : Jan 24, 2021, 08:00 AM
जम्मू-कश्मीर में भारी बर्फबारी जारी है। इस बीच दिल को छू लेने वाली कहानी सामने आई है। शोपियां में भारी बर्फबारी के बीच, मुस्लिम पड़ोसियों ने एक कश्मीरी पंडित के शव को अपने कंधों पर लाया, और अंतिम संस्कार में भी शामिल हुए। दरअसल, शोपियां में भारी बर्फबारी हुई है। इस बीच, अस्पताल में एक बुजुर्ग कश्मीरी पंडित परिवार की मृत्यु हो गई। लेकिन शव को घर लाने के दौरान एम्बुलेंस बर्फ में फंस गई। इसके बाद, पड़ोसी मुसलमानों ने कश्मीरी पंडित के शव को अपने कंधे पर लाद लिया।
कश्मीरी पंडित साठ वर्षीय भास्कर नाथ का शनिवार सुबह श्रीनगर के एक अस्पताल में निधन हो गया। बाद में, भास्कर पंडित के गाँव को एम्बुलेंस से लाया जा रहा था, लेकिन बर्फबारी के कारण गाँव से पाँच किलोमीटर पहले रास्ते में गाड़ी फंस गई।जैसे ही मुस्लिम पड़ोसियों को एम्बुलेंस के फंसने के बारे में पता चला, वे घर से बाहर निकले और पैदल ही एम्बुलेंस की ओर चल पड़े, और पाँच किलोमीटर दूर से उनके कंधे पर शव लाए। यही नहीं, भास्कर नाथ के अंतिम संस्कार में मुस्लिम समुदाय के लोग भी शामिल हुए।स्थानीय लोगों का कहना है कि आस-पास रहने वाले कुछ कश्मीरी पंडित परिवार ही बचे हैं, लेकिन हर कोई एक परिवार की तरह रह रहा है। सभी समाज का एक समान हिस्सा हैं और भास्कर की मौत की खबर से हर कोई स्तब्ध है।
कश्मीरी पंडित साठ वर्षीय भास्कर नाथ का शनिवार सुबह श्रीनगर के एक अस्पताल में निधन हो गया। बाद में, भास्कर पंडित के गाँव को एम्बुलेंस से लाया जा रहा था, लेकिन बर्फबारी के कारण गाँव से पाँच किलोमीटर पहले रास्ते में गाड़ी फंस गई।जैसे ही मुस्लिम पड़ोसियों को एम्बुलेंस के फंसने के बारे में पता चला, वे घर से बाहर निकले और पैदल ही एम्बुलेंस की ओर चल पड़े, और पाँच किलोमीटर दूर से उनके कंधे पर शव लाए। यही नहीं, भास्कर नाथ के अंतिम संस्कार में मुस्लिम समुदाय के लोग भी शामिल हुए।स्थानीय लोगों का कहना है कि आस-पास रहने वाले कुछ कश्मीरी पंडित परिवार ही बचे हैं, लेकिन हर कोई एक परिवार की तरह रह रहा है। सभी समाज का एक समान हिस्सा हैं और भास्कर की मौत की खबर से हर कोई स्तब्ध है।