AajTak : Aug 24, 2020, 06:33 AM
Delhi: राहुल गांधी ने 2019 लोकसभा चुनाव में पार्टी को मिली करारी शिकस्त के बाद नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए कांग्रेस अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था। साथ ही तब उन्होंने किसी गैर गांधी परिवार के सदस्य को कांग्रेस का अध्यक्ष बनाने की बात कही थी, लेकिन कांग्रेस के अन्य नेताओं ने सोनिया गांधी को अंतरिम अध्यक्ष बनने के लिए मजबूर किया। अब जब सोनिया पद छोड़ रही हैं तो राहुल के लिए रास्ता बनाने के लिए पार्टी एक नए विकल्प पर काम कर रही है।
एक साल बाद अब जब एक बार फिर से राहुल गांधी को कांग्रेस अध्यक्ष बनाए जाने की मांग तेज हो रही है और सोनिया गांधी उनके लिए अपना रास्ता छोड़ रही हैं तो यह खुद राहुल गांधी के लिए सबसे बड़ी बाधा होगी।राहुल गांधी ने अपने समर्थकों से कहा था कि उनके फिर से पदभार संभालने से पहले एक गैर गांधी परिवार के नेता को अध्यक्ष होना चाहिए और इस संबंध में बातचीत भी चल रही है।राहुल गांधी को फिर से कांग्रेस अध्यक्ष बनाए जाने से पहले डॉक्टर मनमोहन सिंह या एके एंटनी को पार्टी का अंतरिम अध्यक्ष बनाया जा सकता है। कोरोना महामारी के बाद एक बार फिर से कांग्रेस पार्टी का पूर्ण सत्र बुलाया जाए और राहुल गांधी को फिर से अध्यक्ष बनाए जाने का ऐलान कर दिया जाए।सोनिया गांधी छोड़ने जा रहीं अध्यक्ष पदइस बीच खबर है कि सोनिया गांधी कांग्रेस का अंतरिम अध्यक्ष पद छोड़ने जा रही हैं। पार्टी में लंबे समय से पूर्णकालिक अध्यक्ष की मांग चल रही है। पार्टी से जुड़े सूत्रों ने इंडिया टुडे को बताया कि सोनिया गांधी ने पार्टी सहयोगियों से कह दिया कि उन्होंने एक साल के लिए अंतरिम अध्यक्ष के रूप में अपना कार्यकाल पूरा कर लिया है और वह अध्यक्ष पद से हटना चाहेंगी। लिहाजा पार्टी को नया अध्यक्ष चुनना चाहिए।दूसरी ओर, कांग्रेस वर्किंग कमिटी (सीडब्ल्यूसी) की बैठक सोमवार को होने जा रही है और सूत्रों ने बताया कि यह बैठक संगठनात्मक मुद्दों पर चर्चा करने के लिए बुलाई गई है लेकिन उम्मीद है कि सोनिया फिर से पद छोड़ने की इच्छा जताएंगी और सदस्यों से कहेंगी कि वे खुद पार्टी का नया नेता चुन लें।
पार्टी में बदलाव की मांगपार्टी से जुड़े सूत्रों ने इंडिया टुडे से इस बात की पुष्टि की कि कुछ दिन पहले सोनिया ने गुलाम नबी आजाद से फोन पर बात की है। पार्टी नेतृत्व को लेकर एक पत्र 10 जनपथ भेजे जाने के बाद कांग्रेस के एक धड़े को लगता है कि पार्टी नेतृत्व का मुद्दा सुलझना चाहिए।तो वहीं कांग्रेस में बदलाव की मांग करते हुए सीडब्ल्यूसी सदस्यों, पार्टी सांसदों और पूर्व मंत्रियों सहित पार्टी के शीर्ष 23 नेताओं ने अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को पत्र लिखा। यह दावा किया जा रहा है कि पत्र पर गुलाम नबी आज़ाद, आनंद शर्मा, कपिल सिब्बल जैसे सीनियर नेताओं के अलावा जितिन प्रसाद, मिलिंद देवड़ा, मनीष तिवारी, राज बब्बर, अरविंदर सिंह लवली और संदीप दीक्षित सहित पार्टी के अन्य युवा ब्रिगेड ने भी हस्ताक्षर किए हैं।
एक साल बाद अब जब एक बार फिर से राहुल गांधी को कांग्रेस अध्यक्ष बनाए जाने की मांग तेज हो रही है और सोनिया गांधी उनके लिए अपना रास्ता छोड़ रही हैं तो यह खुद राहुल गांधी के लिए सबसे बड़ी बाधा होगी।राहुल गांधी ने अपने समर्थकों से कहा था कि उनके फिर से पदभार संभालने से पहले एक गैर गांधी परिवार के नेता को अध्यक्ष होना चाहिए और इस संबंध में बातचीत भी चल रही है।राहुल गांधी को फिर से कांग्रेस अध्यक्ष बनाए जाने से पहले डॉक्टर मनमोहन सिंह या एके एंटनी को पार्टी का अंतरिम अध्यक्ष बनाया जा सकता है। कोरोना महामारी के बाद एक बार फिर से कांग्रेस पार्टी का पूर्ण सत्र बुलाया जाए और राहुल गांधी को फिर से अध्यक्ष बनाए जाने का ऐलान कर दिया जाए।सोनिया गांधी छोड़ने जा रहीं अध्यक्ष पदइस बीच खबर है कि सोनिया गांधी कांग्रेस का अंतरिम अध्यक्ष पद छोड़ने जा रही हैं। पार्टी में लंबे समय से पूर्णकालिक अध्यक्ष की मांग चल रही है। पार्टी से जुड़े सूत्रों ने इंडिया टुडे को बताया कि सोनिया गांधी ने पार्टी सहयोगियों से कह दिया कि उन्होंने एक साल के लिए अंतरिम अध्यक्ष के रूप में अपना कार्यकाल पूरा कर लिया है और वह अध्यक्ष पद से हटना चाहेंगी। लिहाजा पार्टी को नया अध्यक्ष चुनना चाहिए।दूसरी ओर, कांग्रेस वर्किंग कमिटी (सीडब्ल्यूसी) की बैठक सोमवार को होने जा रही है और सूत्रों ने बताया कि यह बैठक संगठनात्मक मुद्दों पर चर्चा करने के लिए बुलाई गई है लेकिन उम्मीद है कि सोनिया फिर से पद छोड़ने की इच्छा जताएंगी और सदस्यों से कहेंगी कि वे खुद पार्टी का नया नेता चुन लें।
पार्टी में बदलाव की मांगपार्टी से जुड़े सूत्रों ने इंडिया टुडे से इस बात की पुष्टि की कि कुछ दिन पहले सोनिया ने गुलाम नबी आजाद से फोन पर बात की है। पार्टी नेतृत्व को लेकर एक पत्र 10 जनपथ भेजे जाने के बाद कांग्रेस के एक धड़े को लगता है कि पार्टी नेतृत्व का मुद्दा सुलझना चाहिए।तो वहीं कांग्रेस में बदलाव की मांग करते हुए सीडब्ल्यूसी सदस्यों, पार्टी सांसदों और पूर्व मंत्रियों सहित पार्टी के शीर्ष 23 नेताओं ने अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को पत्र लिखा। यह दावा किया जा रहा है कि पत्र पर गुलाम नबी आज़ाद, आनंद शर्मा, कपिल सिब्बल जैसे सीनियर नेताओं के अलावा जितिन प्रसाद, मिलिंद देवड़ा, मनीष तिवारी, राज बब्बर, अरविंदर सिंह लवली और संदीप दीक्षित सहित पार्टी के अन्य युवा ब्रिगेड ने भी हस्ताक्षर किए हैं।