Vikrant Shekhawat : Jan 13, 2022, 05:13 PM
India-China | देश के सेना प्रमुख मनोज मुकुंद नरवणे ने बुधवार को कहा था कि पिछले 18 महीनों में भारत की सैन्य ताकत काफी बढ़ गई है। उन्होंने आश्वस्त किया कि चीन के साथ युद्ध की स्थिति में भारत विजयी बनकर लौटेगा। अब आर्मी चीफ के इस बयान पर चीन की तरफ से प्रतिक्रिया भी आई है। गुरुवार को चीन की तरफ से कहा गया है कि हमें आशा है कि भारत में जिम्मेदार लोग इस तरह की अरचनात्मक कमेंट करने से परहेज करेंगे।चीनी विदेश मंत्रालय ने दी यह प्रतिक्रियाआर्मी चीफ एम एम नरवणे के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता वांग बेनबिन ने कहा, 'अब चीन और भारत के बीच डिप्लोमैटिक और मिलिट्री चैनल्स के जरिए बातचीत चल रही है। ताकि सीमा पर तनाव को कम किया जा सके। हमें आशा है कि भारत की तरफ से जिम्मेदार लोग इस तरह के कमेंट करने से बचेंगे।'कमांडर लेवल की बातचीतभारत और चीन के बीच 14वें कमांडर लेवल की बातचीत को लेकर वांग ने कहा, 'अगर इस बातचीत में कुछ निकलकर आएगा तो हम सूचना देंगे। हालांकि भारत में सूत्रों के हवाले से इस मीटिंग को लेकर कहा जा रहा है कि 14वें दौर की इस बातचीत में लद्दाख सीमा पर सैनिकों की तैनाती और तनाव कम करने को लेकर बातचीत होगी। भारत देपसांग बल्ग और डेमचॉक पर भी चीन के साथ मौजूदा विवाद को खत्म करने की दिशा में प्रयासरत है।क्या कहा था आर्मी चीफ ने?बता दें कि आर्मी दिवस के मौके पर एक संवाददाता सम्मेलन में अपनी बात रखते हुए सेना प्रमुख ने साफ किया था कि युद्ध अंतिम विकल्प है और चीन के साथ सीमा विवाद को सुलझाने को लेकर बातचीत लगातार जारी है। सेना प्रमुख ने कहा था कि जहां तक नॉर्दन फ्रंट की बात है तो वहां पर पिछले 18 महीनों में हमारी सैन्य ताकत काफी बढ़ी है। उन्होंने कहा, 'युद्ध की स्थिति अंतिम उपाय है, लेकिन अगर युद्ध हुआ तो हम विजयी होकर लौटेंगे।'