Vikrant Shekhawat : Dec 12, 2020, 10:14 PM
नई दिल्ली | पेरिस समझौते को लेकर शनिवार को आयोजित जलवायु महत्वाकांक्षी शिखर सम्मेलन को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने कहा कि भारत न केवल पेरिस समझौते के लक्ष्यों को प्राप्त करने के रास्ते पर है, बल्कि उम्मीदों से कहीं और आगे उन्हें ले जा रहा है।प्रधानमंत्री मोदी ने पेरिस समझौते के पांच साल पूरे होने के मौके पर संयुक्त राष्ट्र की ओर से आयोजित किए गए वैश्विक जलवायु सम्मेलन में अपने विचारों से भविष्य का खाका खींचा। उन्होंने कहा कि आज जैसे-जैसे हम अपनी दृष्टि को और भी ऊंचा करते जा रहे हैं, वैसे-वैसे हमें हमारे अतीत को भी नहीं देखना चाहिए। हमें न केवल अपनी महत्वाकांक्षाओं में बदलाव लाना चाहिए, बल्कि पहले से निर्धारित लक्ष्यों में अपनी उपलब्धियों की समीक्षा भी करनी चाहिए।पीएम मोदी ने यह भी कहा कि भारत न केवल अपने पेरिस समझौते के लक्ष्यों को प्राप्त करने की ओर अग्रसर है, बल्कि इससे कहीं अधिक अपनी अपेक्षाओं को पूरा करने की ओर आगे बढ़ रहा है।भारत ने उत्सर्जन कम किया
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमने साल 2005 के मुकाबले अपनी उत्सर्जन की गति को 21 फीसदी कम किया है। हमारी सौर ऊर्जा क्षमता वर्ष 2014 में 2.63 गीगा वाट थी जो साल 2020 तक आते आते बढ़कर 36 गीगा वाट हो गई है। हमारी नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता विश्व में चौथे स्थान पर है। उन्होंने आशा जताई कि यह साल 2022 से पहले बढ़कर 175 गीगा वाट हो जाएगी।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमने साल 2005 के मुकाबले अपनी उत्सर्जन की गति को 21 फीसदी कम किया है। हमारी सौर ऊर्जा क्षमता वर्ष 2014 में 2.63 गीगा वाट थी जो साल 2020 तक आते आते बढ़कर 36 गीगा वाट हो गई है। हमारी नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता विश्व में चौथे स्थान पर है। उन्होंने आशा जताई कि यह साल 2022 से पहले बढ़कर 175 गीगा वाट हो जाएगी।