इंडिया / भाजपा का समर्थन करने वाले निर्दलीय विधायकों को जनता जूते से मारेगी: दीपेंद्र हुड्डा

हरियाणा विधानसभा चुनाव परिणाम सामने आने के बाद सरकार बनाने के लिए चल रही जद्दोजहद के बीच कांग्रेस नेता दीपेंद्र हुड्डा का अजीबोगरीब बयान सामने आया है। हुड्डा ने कहा कि जो निर्दलीय विधायक खट्टर सरकार का हिस्सा बनने जा रहे हैं, वह अपने हाथों अपनी ही कब्र खोद रहा है। वे जनता का भरोसा बेच रहे हैं। प्रदेश की जनता उन्हें कभी माफ नहीं करेगी। जनता उन्हें जूते से मारेगी।

AMAR UJALA : Oct 25, 2019, 05:08 PM
Haryana Assembly Election Results | हरियाणा विधानसभा चुनाव परिणाम सामने आने के बाद सरकार बनाने के लिए चल रही जद्दोजहद के बीच कांग्रेस नेता दीपेंद्र हुड्डा का अजीबोगरीब बयान सामने आया है। दीपेंद्र ने भाजपा और खट्टर को समर्थन दे रहे निर्दलीय विधायकों पर अपनी भड़ास निकाली है।

हुड्डा ने कहा कि जो निर्दलीय विधायक खट्टर सरकार का हिस्सा बनने जा रहे हैं, वह अपने हाथों अपनी ही कब्र खोद रहा है। वे जनता का भरोसा बेच रहे हैं। प्रदेश की जनता उन्हें कभी माफ नहीं करेगी। जनता उन्हें जूते से मारेगी। 

सात निर्दलीय तय करेंगे खट्टर की सरकार

हरियाणा में भाजपा बहुमत से भले ही दूर रह गई है, लेकिन भाजपा की सरकार बनना लगभग तय हो गया है। पार्टी हाथ आए इस मौके को छोड़ना नहीं चाहती। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह संकटमोचक बन कर रण में कूद गए हैं। चुनाव जीतने वाले सात में से पांच निर्दलीय भाजपा के बागी हैं।

वीरवार देर रात ही पांच निर्दलीय विधायकों ने भाजपा के कार्यकारी अध्यक्ष जेपी नड्डा और हरियाणा भाजपा के प्रभारी और महासचिव अनिल जैन से मुलाकात की। ये हैं- सिरसा से गोपाल कांडा, पूंडरी से रणधीर गोलन, महम से बलराम कुंडू, रानियां से रणजीत सिंह, बादशाहपुर से राकेश दौलताबाद। दो और निर्दलीय विधायक दादरी से सोमवीर सांगवान और नीलोखेड़ी से धर्मपाल गोंदर जेपी नड्डा और अनिल जैन से भी समर्थन मिलने की उम्मीद है।

ऐसे बनेगी सरकार

हरियाणा में विधानसभा की 90 सीटे हैं। भाजपा को 40 सीटें मिली हैं। विधानसभा तक पहुंचने के लिए पार्टी को 46 सीटों की जरूरत है। ऐसे में सात निर्दलीय को शामिल करके ही पार्टी सरकार बना सकती है, लेकिन सूबे की जनता को स्थाई सरकार देने के लिए दुष्यंत को शामिल करने पर जोर दिया जा रहा है। चूंकि पार्टी प्रदेश में स्थिर सरकार देना चाह रही है। इसलिए दुष्यंत को साथ लेकर चलना मजबूरी बन गया है। ऐेसे में दुष्यंत को डिप्टी सीएम का पद ऑफर किया जा सकता है।