News18 : Mar 18, 2020, 05:19 PM
राजसमन्द। राजस्थान के प्रसिद्ध धार्मिक स्थल राजसमन्द जिले के नाथद्वारा में स्थिति भगवान श्रीनाथजी के मंदिर में कोरोना वायरस (coronavirus) के चलते श्रृद्धालुओं के प्रवेश पर प्रतिबंद्ध लगा दिया गया है। अटूट आस्था के केंद्र श्रीनाथजी का यह मंदिर पुष्टिमार्गीय मत की प्रधान पीठ भी हैं। यहां प्रतिदिन हजारों की तादाद में श्रृद्धालु श्रीजी बाबा के दर्शन के लिए पहुंचते हैं। मंदिर में श्रृद्धालुओं के लिए आठ दर्शन होते हैं लेकिन कोरोना वायरस संक्रमण के चलते इतिहास में पहली बार श्रीजी बाबा के 8 में से 4 दर्शन में श्रृद्धालुओं के प्रवेश को रोक दिया गया है। श्रीनाथजी मंदिर में प्रतिदिन मंगला, श्रृंगार, ग्वाल, राजभोग, आरती, उत्थापन, भोग और शयन के दर्शन होते हैं, लेकिन एक साथ ज्यादा लोगों की भीड़ जमा होने से रोकने के लिए मंदिर प्रबंधकों ने यह निर्णय लिया है।श्रृंगार, ग्वाल, उत्थापन और भोग के दौरान मंदिर में दर्शन नहीं
श्रीजी के मंदिर में आरती के चार दर्शन होते हैं, ऐसे में इन चार दर्शनों में लोगों को प्रवेश दिया जाएगा लेकिन सिर्फ 50-50 श्रृद्धालु ही अंदर प्रवेश कर सकेंगे। मंदिर प्रबंधन इन चार दर्शनों में पहले कतार में लगे 50 श्रद्धालुओं को दर्शन के लिए मंदिर में प्रवेश देगा। बाकि श्रद्धालु भगवान के दर्शन नहीं कर सकेंगे। यही नहीं अन्य चार दर्शनों में श्रृंगार, ग्वाल, उत्थापन और भोग के दौरान मंदिर में दर्शन तो खुलेंगे लेकिन श्रद्धालुओं के लिए पट बंद रहेंगे।पूरे दिन में महज 200 श्रद्धालु ही भगवान के दर्शन कर सकेंगे
इन दर्शनों को पुरानी परंपरा के अनुसार ही मंदिर के अंदर सेवक और पूजा से जुडे़ लोग मौजूद रह कर पूरा करेंगे। श्रीनाथजी मंदिर में प्रतिदिन हजारों श्रद्धालु दर्शन के लिए पहुंचते हैं। लेकिन अब कोरोना वायरस के प्रति जागरूकता के चलते पूरे दिन में महज 200 श्रद्धालु ही भगवान के दर्शन कर सकेंगे। पहले मंदिर में सिर्फ सेवा पूजा से जुडे़ लोगों की संख्या ही पचास से ज्यादा हो जाती थी, लेकिन अब यह ध्यान रखा जा रहा हैं कि मंदिर में एक साथ ज्यादा लोगों की भीड़ जमा न हो जाए।दर्शन किए बिना ही निराश होकर लौट रहे श्रद्धालु
श्रीनाथजी मंदिर में यह निर्णय लागू होने के साथ श्रद्धालु भी बड़ी तादाद में निराश हो रहे हैं। नाथद्वारा की इस पवित्र नगरी में दूर-दराज से श्रद्धालु बाबा के दर्शन के लिए पहुंचे हैं लेकिन अब मंदिर के अधिकतर समय बंद रहने के चलते उन्हें दर्शन किए बिना ही निराश होकर लौटना पड़ रहा है। श्रीनाथ जी की इस नगरी में होटल्स, धर्मशालाओं, गेस्टहाउस में दो हजार कमरों में से अधिकांश कमरे खाली होने लगे हैं। हालांकि पिछले कुछ दिनों से कोरोना वायरस के भय से श्रद्धालुओं की संख्या में बहुत कमी आई थी लेकिन अब चार दर्शन बंद करने और अन्य चार में सिर्फ पचास श्रद्धालुओं को प्रवेश देने से यहां आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या न के बराबर रह जाएगी।
श्रीजी के मंदिर में आरती के चार दर्शन होते हैं, ऐसे में इन चार दर्शनों में लोगों को प्रवेश दिया जाएगा लेकिन सिर्फ 50-50 श्रृद्धालु ही अंदर प्रवेश कर सकेंगे। मंदिर प्रबंधन इन चार दर्शनों में पहले कतार में लगे 50 श्रद्धालुओं को दर्शन के लिए मंदिर में प्रवेश देगा। बाकि श्रद्धालु भगवान के दर्शन नहीं कर सकेंगे। यही नहीं अन्य चार दर्शनों में श्रृंगार, ग्वाल, उत्थापन और भोग के दौरान मंदिर में दर्शन तो खुलेंगे लेकिन श्रद्धालुओं के लिए पट बंद रहेंगे।पूरे दिन में महज 200 श्रद्धालु ही भगवान के दर्शन कर सकेंगे
इन दर्शनों को पुरानी परंपरा के अनुसार ही मंदिर के अंदर सेवक और पूजा से जुडे़ लोग मौजूद रह कर पूरा करेंगे। श्रीनाथजी मंदिर में प्रतिदिन हजारों श्रद्धालु दर्शन के लिए पहुंचते हैं। लेकिन अब कोरोना वायरस के प्रति जागरूकता के चलते पूरे दिन में महज 200 श्रद्धालु ही भगवान के दर्शन कर सकेंगे। पहले मंदिर में सिर्फ सेवा पूजा से जुडे़ लोगों की संख्या ही पचास से ज्यादा हो जाती थी, लेकिन अब यह ध्यान रखा जा रहा हैं कि मंदिर में एक साथ ज्यादा लोगों की भीड़ जमा न हो जाए।दर्शन किए बिना ही निराश होकर लौट रहे श्रद्धालु
श्रीनाथजी मंदिर में यह निर्णय लागू होने के साथ श्रद्धालु भी बड़ी तादाद में निराश हो रहे हैं। नाथद्वारा की इस पवित्र नगरी में दूर-दराज से श्रद्धालु बाबा के दर्शन के लिए पहुंचे हैं लेकिन अब मंदिर के अधिकतर समय बंद रहने के चलते उन्हें दर्शन किए बिना ही निराश होकर लौटना पड़ रहा है। श्रीनाथ जी की इस नगरी में होटल्स, धर्मशालाओं, गेस्टहाउस में दो हजार कमरों में से अधिकांश कमरे खाली होने लगे हैं। हालांकि पिछले कुछ दिनों से कोरोना वायरस के भय से श्रद्धालुओं की संख्या में बहुत कमी आई थी लेकिन अब चार दर्शन बंद करने और अन्य चार में सिर्फ पचास श्रद्धालुओं को प्रवेश देने से यहां आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या न के बराबर रह जाएगी।