विज्ञान / सूर्य से निकली 4 साल में सबसे बड़ी सौर ज्वाला, अटलांटिक के ऊपर हुआ रेडियो ब्लैकआउट

नए सनस्पॉट AR2838 ने 3 जुलाई को विकिरण के शक्तिशाली विस्फोट के रूप में 4-साल की सबसे बड़ी सौर ज्वाला उत्सर्जित की। इसे X1.5-क्लास के तौर पर वर्गीकृत किया गया जो सबसे तीव्र ज्वाला को दर्शाता है। इसके बाद एक्स-रे के कंपन ने पृथ्वी के वायुमंडल के शीर्ष को आयनित किया जिससे अटलांटिक महासागर के ऊपर शॉर्टवेव रेडियो ब्लैकआउट हुआ।

Vikrant Shekhawat : Jul 06, 2021, 08:59 AM
विज्ञान: सूर्य के अंदर पिछले 4 सालों का सबसे बड़ा विस्फोट 4 जुलाई से ठीक पहले हुआ है। इसकी वजह से Solar flare निकली और तुरंत ही गायब भी हो गई। इन Solar flare के चलते पृथ्वी में थोड़ी देर के लिए Radio Blackout की स्थिति भी बनी थी। अमेरिकी स्पेस एजेंसी नासा ने इसका वीडियो भी जारी किया है। नासा के वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि यह विस्फोट सूर्य का ऊपरी दाहिने हिस्से में हुआ था। रिपोर्ट्स के अनुसार यह विस्फोट सूर्य के जिस हिस्से में हुआ था उसे AR2838 कहते हैं। साथ ही इस घटना को X-1 दर्जे की घटना माना गया है।

क्या है सोलर फ्लेयर

सूरज पर बनने वाले सनस्पॉट से सोलर फ्लेयर निकलती है। सनस्पॉट वो काले धब्बे होते हैं जो अंतरिक्ष में बनने वाले तारों की तुलना में काफी ठंडे होते हैं, लेकिन इनकी मैग्नेटिक फील्ड इतनी ज्यादा होती है कि ये बहुत ज्यादा मात्रा में ऊर्जा निकालते हैं। ये ऊर्जा एक ज्वाला की तरह दिखाई देती है। सोलर फ्लेयर्स को सौर तूफान या कोरोनल मास इजेक्शन भी कहा जाता है। कई बार सनस्पॉट का आकार 50 हजार किलोमीटर के व्यास का भी होता है। ऐसे में इसके अंदर से सूर्य के गर्म प्लाज्मा का बुलबुला भी निकलता है। इस बुलबुले के विस्फोट से सोलर फ्लेयर्स निकलते हैं।

अभी भी बने हुए हैं तीन सनस्पॉट

दुनिया की कई अंतरिक्ष वेधशालाओं ने इस ज्वाला की तस्वीरें ली हैं। सूर्य में तीन सनस्पॉट यानी सौर कलंक समूह अभी बने हुए हैं। जिनसे और सोलर फ्लेअर निकलने की आशंका बनी हुई है।

आर्यभट्ट प्रेक्षण विज्ञान शोध संस्थान (एरीज) नैनीताल के वरिष्ठ सौर विज्ञानी डा. बहाबउद्दीन ने बताया कि सूर्य में यह ज्वाला भारतीय समयानुसार शनिवार रात आठ बजकर पांच मिनट पर निकली है। हैरानी की बात यह है कि शनिवार सुबह तक इस क्षेत्र में कोई सनस्पॉट नहीं बना था, जिससे फ्लेअर निकलने का अनुमान लगाया जा सकता था।

शाम को अचानक उभरे सनस्पॉट

शाम अचानक सनस्पॉट उभरा और उभरने साथ ही उसमें से एक्स 1.6 श्रेणी की ज्वाला निकल पड़ी। बिना किसी पूर्वानुमान के अचानक निकली ज्वाला से दुनियाभर के सौर विज्ञानियों को अचंभित कर दिया। यह 25वां सोलर साइकिल है, जिसमें पहली बार एक्स श्रेणी की ज्वाला निकली है। इससे पूर्व सितंबर 2017 में एक्स श्रेणी की ज्वाला सूर्य से निकली थी। तब 24वें सोलर साइकिल का अंतिम चरण चल रहा था। नए सोलर साइकिल में एम श्रेणी तक की ज्वालाएं अभी तक निकल चुकी हैं। जबकि एक्स श्रेणी की ज्वाला का विज्ञानियों को इंतजार था।

सनस्पॉट पर नजरें जमाकर बैठे हैं वैज्ञानिक

सूर्य में पिछले कई दिनों से तीन सनस्पॉट समूह बने हुए हैं। जिनसे बड़ी ज्वालाएं निकलने की उम्मीद है। सूर्य की निगरानी के लिए एरीज में सोलर टेलीस्कोप मौजूद है। सूरज में यह घटना रात के समय होने के कारण एरीज से इस ज्वाला की तस्वीरें नहीं ली जा सकी। बहरहाल सूर्य पर उभरे सनस्पॉट पर एरीज के विज्ञानी नजरें जमाए हुए है।

खतरनाक होते हैं सौर तूफान

डा. बहाबउद्दीन ने बताया कि सोलर फ्लेअर का निकलना सूरज में होने वाली सामान्य घटना है, लेकिन इनसे निकलने वाले सौर तूफान पृथ्वी के इलेक्ट्रानिक व इलेक्ट्रीकल उपकरणों के लिए बेहद खतरनाक होते हैं। वहीं यह आसमान में विचरते सेटेलाइट व हवाई जहाजों के लिए भी खतरनाक होते हैं। जिस कारण विज्ञानी सूर्य की प्रत्येक गतिविधि पर नजर रखते हैं।