Vikrant Shekhawat : Oct 24, 2020, 07:09 AM
नई दिल्ली.भारत-चीन तनाव के बीच, अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ की अगले सप्ताह होने वाली भारत यात्रा को बहुत महत्वपूर्ण माना जा रहा है। और सबसे बड़ी बात यह है कि माइक पोंपियो भारत दौरे के बाद श्रीलंका और मालदीव भी जाएंगे। दरअसल, चीन श्रीलंका और मालदीव जैसे देशों को कैसे कर्ज के जाल में फंसाकर अपने नियंत्रण में रखना चाहता है, यह सभी जानते हैं। वहीं, दक्षिण चीन सागर के बारे में कहा जाता है कि जिसका हिंद महासागर पर नियंत्रण है, वह चीन को कमजोर कर सकता है। और इस बीच, अमेरिका और भारत के लिए चीन का खतरा यह है कि अगर कोई भी उसके हितों के खिलाफ काम करने की कोशिश करता है, तो वह चुप नहीं रहेगा।अमेरिकी विदेश विभाग में राज्य के डीन थॉमसन के उप सहायक सचिव ने कहा कि जिन देशों के साथ चीन के विवाद को एक मंच पर लाया जाना है। जैसा कि चीन ने कुटिल नीति के माध्यम से अपना प्रभाव बढ़ाया या बढ़ाया है, उसे रोकना होगा। चीन के सीमावर्ती देशों पर हमारी विशेष नजर है। वाशिंगटन चीन पर कूटनीतिक दबाव बढ़ा रहा है। अमेरिकी विदेश मंत्री ने इस महीने की शुरुआत में भारत, जापान और ऑस्ट्रेलिया के विदेश मंत्रियों की बैठक का नेतृत्व किया। टोक्यो में इस बैठक को भारत-प्रशांत क्षेत्र में चीन की बढ़ती मुखरता के खिलाफ संभावित लड़ाई के रूप में देखा जा सकता है।