Pakistan / पाकिस्तान की एक और नापाक हरकत, नेपाल की तरह बिना बातचीत ​नक्शा जारी कर विवादित ​इलाकों को बताया अपना

पाकिस्तान ने भारत को लेकर एकबार फिर उकसावे वाली हरकत की है। पाकिस्तान सरकार ने मंगलवार को जम्मू-कश्मीर के केंद्र शासित प्रदेशों और लद्दाख को पाकिस्तान का हिस्सा दिखाते हुए नया नक्शा जारी किया है। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने मंगलवार को एक बैठक के दौरान देश का नया नक्शा लागू कर डाला है और इसमें सियाचिन समेत भारत जिन इलाकों पर वह दावा ठोक रहा है, उन्हें शामिल किया गया है।

Vikrant Shekhawat : Aug 04, 2020, 10:44 PM
इस्लामाबाद | पाकिस्तान (Pakistan) ने भारत (India) को लेकर एकबार फिर उकसावे वाली हरकत की है। पाकिस्तान सरकार ने मंगलवार को जम्मू-कश्मीर (Jammu and Kashmir) के केंद्र शासित प्रदेशों और लद्दाख (Laddakh) को पाकिस्तान का हिस्सा दिखाते हुए नया नक्शा जारी किया है। विवादास्पद नक्शे में पाकिस्तान ने गुजरात के जूनागढ़ (Gujrat Junagarh) और सर क्रीक को भी अपने नक्शे में दिखाया है। भारत और नेपाल के बीच सीमा विवाद होने के बाद जिस तरह नेपाल सरकार ने बिना बातचीत के अपने देश का नक्शा जारी कर विवादित क्षेत्रों को अपना बता डाला, पाकिस्तान ने भी अब उससे सीखना शुरू कर दिया है। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने मंगलवार को एक बैठक के दौरान देश का नया नक्शा लागू कर डाला है और इसमें सियाचिन समेत भारत जिन इलाकों पर वह दावा ठोक रहा है, उन्हें शामिल किया गया है।

इमरान खान ने कैबिनेट की बैठक के बाद देश का नया पॉलिटिकल मैप जारी किया है। इस मैप में सियाचिन को पाकिस्तान का हिस्सा बताया गया है। पाकिस्तान का कहना है कि भारत ने यहां अवैध तरीके से निर्माण करा रखा है। यही नहीं, यह मानते हुए कि सर क्रीक में भारत के साथ उसका विवाद है, पाकिस्तान ने साफ कह दिया है कि उसने इस इलाके को अपने नक्शे में शामिल कर लिया है।

नए आधिकारिक नक्शे में जम्मू-कश्मीर को अवैध रूप से भारत के कब्जे में बताया गया है। पाकिस्तानी सरकार ने इस बात की पुष्टि की है कि नक्शे का इस्तेमाल पूरे देश में पाठ्यक्रम में किया जाएगा। पाकिस्तान ने यह कदम 5 अगस्त से एक दिन पहले उठाया है। पिछले साल इसी दिन जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाया गया था। 5 अगस्त को इसके एक साल होने वाले हैं।

किसके लिए जारी किया नया नक्शा?

दरअसल, नक्शा जारी करने के बाद इमरान खान ने कहा कि जो शुरू से पाकिस्तानियों के मन में था, कि कश्मीर पाकिस्तान का हिस्सा होना चाहिए, यह मैप उसकी दिशा में पहला कदम है। पाकिस्तान अब तक कश्मीर से जुड़े हिस्सों को विवादित क्षेत्र बताता रहा है और कश्मीर के लोगों की आजादी के लिए उनके संघर्ष में साथ देने का वादा करता रहा है। ऐसे में सवाल उठता है कि क्या पाकिस्तान सरकार ने नक्शा देश की अवाम को खुश करने के लिए जारी किया है और ऐसा करके उसने कश्मीर को आजादी की लड़ाई में समर्थन आखिर कैसे दिया है?

कुरैशी ने किया था कश्मीर से झूठा वादा?

खास बात यह है कि यह नक्शा जारी करने से एक दिन पहले ही पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी जब नियंत्रण रेखा के दौरे पर गए थे, तो उन्होंने पिछले साल आर्टिकल 370 हटाए जाने का एक साल पूरा होने पर कश्मीरियों के साथ 'समर्थन' जताया था। कुरैशी ने भारत सरकार के इस कदम को अवैध बताते हुए कहा था कि पाकिस्तान के लोग कश्मीरियों आवाजों के हक में आवाज उठाएंगे। उन्होंने यहां तक कहा था कि यह जंग तब तक चलेगी जब तक UNSC के रेजलूशन के मुताबिक कश्मीरियों को आजादी का अधिकार नहीं मिल जाएगा।

चीन से लगे हिस्से पर चुप्पी

हालांकि, जाहिर है कि पाकिस्तान ने कश्मीर की आजादी को समर्थन देने के नाम पर खुद ही उन क्षेत्रों को हथियाने की चाल चल डाली। दिलचस्प बात यह भी है कि जहां ऐसे क्षेत्रों की बात आई जिन्हें लेकर चीन और भारत के बीच सीमा विवाद है, उन पर पाकिस्तान ने चुप्पी साध ली है। इन जगहों को नए मैप में 'अनडिफाइंड फ्रंटियार' करार दिया गया है।

पीएम इमरान ने नए नक्शे को मंजूरी दी

इससे पहले प्रधानमंत्री इमरान खान ने कैबिनेट बैठक की अध्यक्षता की और पहली बार जम्मू-कश्मीर क्षेत्र को अपना हिस्सा बताते हुए पाकिस्तान का नया राजनीतिक नक्शे को मंजूरी दी। इस दौरान इमरान खान ने कहा कि नए नक्शे को सभी राजनीतिक दलों और पाकिस्तान के लोगों का समर्थन है। यह नक्शा पिछले साल जम्मू-कश्मीर में भारत सरकार के 5 अगस्त के फैसले के खिलाफ है।