बिहार / LJP में बड़ी टूट.. पार्टी के 5 सांसदों ने चिराग पासवान से अलग होने का फैसला लिया

लोक जनशक्ति पार्टी में बड़ी टूट की खबर आ रही है। सूत्रों के मुताबिक, पार्टी के पांच सांसदों ने चिराग पासवान (Chirag Paswan) से अलग होने का फैसला लिया है। सूत्रों के हवाले से मिली खबर के मुताबिक, चिराग अकेले रह गए हैं। पहले चार सांसदों के अलग होने की खबर आई थी। भाई प्रिंस के भी अलग होने की खबर है। चिराग के चाचा पशुपति पारस को अगुआई में यह टूट हुई है। लोजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष पशुपति कुमार पारस होंगे।

नई दिल्ली/पटना। लोक जनशक्ति पार्टी में बड़ी टूट की खबर आ रही है। सूत्रों के मुताबिक, पार्टी के पांच सांसदों ने चिराग पासवान (Chirag Paswan) से अलग होने का फैसला लिया है। सूत्रों के हवाले से मिली खबर के मुताबिक, चिराग अकेले रह गए हैं। पहले चार सांसदों के अलग होने की खबर आई थी। भाई प्रिंस के भी अलग होने की खबर है। चिराग के चाचा पशुपति पारस को अगुआई में यह टूट हुई है। लोजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष पशुपति कुमार पारस होंगे।

एलजेपी पार्टी के वैशाली सांसद, रामविलास पासवान के भाई और चिराग के चाचा पशुपति पारस देर रात दिल्ली में जेडीयू सांसद ललन सिंह से मिले हैं। चिराग को छोड़ सभी सांसदों ने पशुपति कुमार पारस को नेता माना है। पशुपति कुमार पारस को प्रिंस पासवान, वीणा सिंह, चंदन कुमार और महबूब अली कैसर ने नेता माना है। एलजेपी के इकलौते विधायक राजकुमार सिंह जेडीयू में शामिल हो चुके हैं।

रामविलास पासवान की पार्टी उनके निधन के सालभर के भीतर टूट गई। LJP राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान अकेले रह जाएंगे। एलजेपी के 6 सांसद हैं। सूत्रों के मुताबिक, 5 सांसद पार्टी से अलग होना चाहते हैं। खबर ये है कि पशुपति पारस के नेतृत्व में पार्टी के 5 सांसदों का समर्थन पत्र लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को सौंप दिया है। इसका मतलब यह है कि अब बंगला में चिराग अकेले पड़ गए हैं।

जेडीयू में शामिल होगे पांचों सांसद!

माना जा रहा है कि चिराग पासवान से अलग हुए पांचों सांसद जेडीयू में शामिल हो जाएंगे। बिहार में न तो विधानसभा में और न ही विधान परिषद में एलजेपी का कोई विधायक बचा है। लोकसभा में छह सांसद थे जिनमें से पांच जल्दी ही नीतीश के साथ जा सकते हैं। बिहार विधानसभा चुनाव में चिराग पासवान ने नीतीश कुमार के खिलाफ जमकर मोर्चा खोला था। अब जेडीयू के जवाबी हमले में चिराग बिल्कुल अलग थलग पड़ गए हैं।