पश्चिम बंगाल / ममता बनर्जी के दो मंत्रियों समेत 4 नेताओं को नारदा स्टिंग केस में मिली जमानत, हाई कोर्ट ने दी राहत

कलकत्ता उच्च न्यायालय ने नारद रिश्वत मामले में कोलकाता के पूर्व मेयर सोवन चटर्जी और टीएमसी नेताओं सुब्रत मुखर्जी, फिरहाद हकीम और मदन मित्रा को अंतरिम जमानत दे दी है। अदालत ने उनसे दो-दो जमानतदारों के साथ ₹2 लाख का निजी मुचलका जमा करने को कहा है। कलकत्ता उच्च न्यायालय ने पिछले सप्ताह चारों नेताओं को नजरबंद करने का आदेश दिया था।

Vikrant Shekhawat : May 28, 2021, 02:33 PM
कोलकाता: नारदा स्टिंग केस में बीते एक सप्ताह से ज्यादा समय से सीबीआई की गिरफ्तारी में चल रहे बंगाल सरकार के दो मंत्रियों समेत 4 नेताओं को कोलकाता हाई कोर्ट ने बड़ी राहत दी है। शुक्रवार को चारों नेताओं की अर्जी पर सुनवाई करते हुए अदालत ने अंतरिम जमानत को मंजूरी दी है। पिछले दिनों सीबीआई ने नारदा स्टिंग केस में टीएमसी सरकार के मंत्री फिरहाद हाकिम, सुब्रत बनर्जी और विधायक मदन मित्रा को अरेस्ट कर लिया था। इसके अलावा कोलकाता के पूर्व मेयर सोवन चर्टजी को भी गिरफ्तार किया गया था। मंत्रियों की गिरफ्तारी के बाद ममता बनर्जी ने विरोध जताते हुए कहा था कि यह बदले की कार्रवाई करने जैसा है।

टीएमसी के दोनों मंत्रियों समेत चारों नेताओं को अदालत ने 2 लाख रुपये का मुचलका भरने का आदेश दिया है। इसके अलावा दो जमानती भी लाने की बात कही है। अदालत ने आदेश दिया है कि ये चारों नेता नारदा स्टिंग केस की जांच में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए आगे भी जुड़े रहेंगे। हालांकि इन नेताओं के नारदा केस को लेकर मीडिया में बयान देने पर रोक लगाई गई है। इसके अलावा मीडिया से इस केस से जुड़ी बात किसी इंटरव्यू में भी नहीं कर सकते।

शर्तों का उल्लंघन करने पर निरस्त हो जाएगी बेल

अदालत ने चारों नेताओं को यह चेतावनी देते हुए अंतरिम जमानत दी है कि यदि वह किसी भी शर्त का उल्लंघन करते हैं तो फिर बेल को निरस्त कर दिया जाएगा। इस केस में 19 को मई को डिविजन बेंच ने चारों नेताओं को हाउस अरेस्ट करने का आदेश दिया था। दरअसल डिविजन बेंच के बीच किसी फैसले को लेकर सहमति नहीं बन पाई थी। इसके बाद मामले को 5 जजों की संवैधानिक बेंच को ट्रांसफर किया गया था। शुक्रवार को चारों नेताओं की अर्जी पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने अंतरिम बेल का आदेश दिया है। इससे पहले अदालत ने उनकी बेल की अर्जी खारिज कर दी थी।