Vikrant Shekhawat : Jan 21, 2021, 10:54 PM
IND vs AUS: भारतीय क्रिकेट के उभरते सितारे और तेज गेंदबाज टी नटराजन गुरुवार को स्वदेश लौट आए। ऑस्ट्रेलिया में शानदार प्रदर्शन करने वाले नटराजन का उनके गांव में जोरदार स्वागत हुआ। यहां उनके लिए घोड़े के रथ का इंतजाम किया गया था, जिसमें सवार होकर अपने घर पहुंचे। इस दौरान वो प्रशंसकों की भीड़ से घिरे हुए थे। रथ पर सवार नटराजन तिरंगा लहराते रहे जबकि उनके आसपास में लगातार ढोल-नगाड़े बजते रहे।नटराजन के स्वागत का यह शानदार वीडियो शेयर करते हुए पूर्व क्रिकेटर वीरेंद्र सहवाग ने लिखा, 'स्वागत नहीं करोगे? यह भारत है. यहां क्रिकेट सिर्फ खेल नहीं है. यह उससे कहीं ज्यादा है. सलेम जिले के चिन्नप्पमपट्टी गांव पहुंचने पर नटराजन का जोरदार स्वागत। क्या कहानी है।'गौरतलब है कि नटराजन को आईपीएल के बाद ऑस्ट्रेलिया दौरे पर नेट गेंदबाज के तौर पर शामिल किया गया था। लेकिन यहां उनकी किस्मत ने उनका साथ दिया और उन्होंने सिर्फ वनडे ही नहीं बल्कि टी-20 और फिर टेस्ट मैच में भी डेब्यू किया। वह दुनिया के पहले ऐसे खिलाड़ी बने जिसने एक ही दौरे पर क्रिकेट के तीनों प्रारूपों में डेब्यू किया।नटराजन के लिए पिछले कुछ महीने बेहद शानदार गुजरे। आईपीएल के 13वें सीजन में सनराइजर्स हैदराबाद ने उन्हें चोटिल भुवनेश्वर की जगह प्लेइंग इलेवन में शामिल किया। यहां इस 29 वर्षीय तेज गेंदबाज ने जबरदस्त प्रदर्शन किया। उन्होंने पूरे सीजन 16 मैच खेल और 16 विकेट चटकाए। इस दौरान उन्होंने 60 से अधिक यॉर्कर गेंदें भी फेंकी। आईपीएल के उनके प्रदर्शन को देखते हुए उन्हें ऑस्ट्रेलिया दौरे के लिए नेट गेंदबाज के तौर पर टीम से जोड़ा गया।दौरे के दौरान वरुण चक्रवर्ती के चोटिल होने के बाद नटराजन को टी-20 स्क्वॉड में शामिल किया गया। उसके बाद उन्हें पहले वनडे के लिए नवदीप सैनी के बैकअप के तौर पर एकदिवसीय टीम में भी जोड़ा गया। उन्होंने तीसरे वनडे में डेब्यू किया और मार्नस लाबुशेन का विकेट अपने नाम किया। इसके बाद उन्होंने टी-20 में डेब्यू करते हुए 30 रन देकर तीन विकेट लिए। बाद में टीम इंडिया के मुख्य गेंदबाजों के चोटिल होने पर उन्हें आखिरी टेस्ट मैच में डेब्यू का मौका मिला।
नटराजन के जीवन की कहानी भी बेहद भावुक करने वाली है। तमिलनाडु के सालेम जिले में स्थित चिन्नप्पमपट्टी गांव में नटराजन के पिता थंगारासु करघा कारीगर थे। मां शांता एक छोटी सी खाने की दुकान चलाती हैं, करघे का काम छूटा तो पिता भी इसी दुकान में काम करने लगे। क्रिकेट का सामान खरीदना तो दूर की बात, जूते की एक नई जोड़ी खरीदने से पहले भी नटराजन को महीनों सोच-विचार करना होता था। 11 साल की उम्र में क्रिकेट से जुड़े नटराजन ने अपनी मेहनत से अपनी किस्मत बदली।वहीं, टीम इंडिया के पूर्व विस्फोटक बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग ने टी नटराजन के स्वागत वीडियो को अपने आधिकारिक इंस्टाग्राम अकाउंट पर शेयर किया है। इसमें उन्होंने लिखा है, 'स्वागत नहीं करोगे? यह भारत है। यहां क्रिकेट सिर्फ एक खेल नहीं है बल्कि बहुत कुछ है। गांव पहुंचने के बादनटराज का भव्य स्वागत हुआ। क्या कहानी है।'