Karwa Chauth 2022 / करवा चौथ की कथा इस मुहूर्त में सुनें, मिलेगा सौभाग्य का वरदान

करवा चौथ का व्रत हर साल कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को रखा जाता है. इस दिन सुहागिन महिलाएं पति की लंबी उम्र के लिए निर्जला उपवास रखती हैं और रात को चंद्र दर्शन के बाद ही कुछ खाती हैं. इस व्रत में महिलाएं सामूहिक रूप से दोपहर के समय करवा चौथ की कथा सुनती हैं. यदि ये कथा किसी अबूझ मुहूर्त में सुनी जाए तो बहुत अच्छा होगा. आइए आपको बताते हैं कि इस साल करवा चौथ की कथा सुनने के लिए कौन सा शुभ मुहूर्त बन रहा ह

Vikrant Shekhawat : Oct 12, 2022, 06:53 PM
Karwa Chauth 2022: करवा चौथ का व्रत हर साल कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को रखा जाता है. इस दिन सुहागिन महिलाएं पति की लंबी उम्र के लिए निर्जला उपवास रखती हैं और रात को चंद्र दर्शन के बाद ही कुछ खाती हैं. इस व्रत में महिलाएं सामूहिक रूप से दोपहर के समय करवा चौथ की कथा सुनती हैं. यदि ये कथा किसी अबूझ मुहूर्त में सुनी जाए तो बहुत अच्छा होगा. आइए आपको बताते हैं कि इस साल करवा चौथ की कथा सुनने के लिए कौन सा शुभ मुहूर्त बन रहा है. 

करवा चौथ 2022 तिथि

कार्तिक मास कृष्ण पक्ष चतुर्थी तिथि को करवा चौथ का व्रत रखा जाता है. इस साल कार्तिक कृष्ण चतुर्थी 13 अक्टूबर को रात 01 बजकर 59 मिनट से लेकर 14 अक्टूबर सुबह 03 बजकर 08 मिनट तक रहने वाली है. उदिया तिथि के चलते करवा चौथ का व्रत 13 अक्टूबर को रखा जाएगा.

कथा सुनने का मुहूर्त

करवा चौथ का व्रत रखने वाली महिलाएं दोपहर के समय एकसाथ बैठकर कथा सुनती हैं. इस दौरान महिलाओं की थाली में पूजा की कुछ विशेष सामग्री रहती है. इसमें हल्दी, कलावा, अक्षत, सिंघाड़ा, केला, मिठाई या बताशा जैसी चीजें शामिल रहती हैं. अगर करवा चौथ की कथा आप शुभ मुहूर्त में ही सुनें तो ज्यादा बेहतर होगा. इस दिन दोपहर 12 बजकर 01 मिनट से लेकर 12 बजकर 48 मिनट तक अभिजीत मुहूर्त रहने वाला है. आप इस शुभ अवधि में करवा चौथ की कथा सुन सकती हैं.

कब निकलेगा चांद और कैसे करें दर्शन?

करवा चौथ की रात सुहागिन महिलाएं चंद्र दर्शन के बाद ही उपवास खोलती हैं, इसलिए महिलाओं को चंद्रोदय का बेसब्री से इंतजार रहता है. इस बार करवा चौथ पर चांद निकलने का समय रात 08 बजकर 09 मिनट बताया जा रहा है. हालांकि, आप अपने शहर के हिसाब से चांद निकलने का एग्जैक्ट टाइम जरूर चेक कर लें. चांद दिखने के बाद एक थाली में दीपक, सिन्दूर, अक्षत, कुकुम, रोली और सफेद मिठाई रखें. एक करवे में जल भरकर पहले मां गौरी और भगवान गणेश की पूजा करें. फिर चांद को छन्नी से देखें और अर्घ्य दें. इसके बाद चंद्र देव से हाथ जोड़कर अपने पति की लंबी उम्र की कामना करें.