AajTak : Aug 29, 2020, 07:19 AM
Delhi: हाल ही में महाराष्ट्र की उद्धव सरकार ने प्रॉपर्टी के रजिस्ट्रेशन पर स्टांप शुल्क घटाने का फैसला लिया है। महाराष्ट्र सरकार के इस फैसले को केंद्र का समर्थन मिला है। इसके साथ ही केंद्र सरकार की ओर से अन्य राज्यों को भी महाराष्ट्र से सीखने की सलाह दी है।
अन्य राज्यों को दी सलाहदरअसल, आवास एवं शहरी मामलों के सचिव दुर्गा शंकर मिश्रा ने रियल एस्टेट में सुस्त पड़ी मांग को तेज करने के लिए राज्यों को स्टांप शुल्क कम करने का सुझाव दिया है।
महाराष्ट्र सरकार ने अच्छा कदम उठायामिश्रा ने कहा, ‘‘हमने सभी राज्यों को इसे कम करने की सलाह दी थी। महाराष्ट्र सरकार ने ऐसा किया है। हम अन्य राज्यों से भी ऐसा करने के लिए कहेंगे। महाराष्ट्र सरकार ने एक अच्छा कदम उठाया है। यह लागत घटाने पर सकारात्मक असर डालेगा।’’
कितना घटा स्टांप शुल्क आपको बता दें कि महाराष्ट्र सरकार ने बुधवार को एक सितंबर, 2020 से 31 दिसंबर, 2020 के बीच कराए जाने वाले आवासों के बिक्री दस्तावेजों पर स्टांप शुल्क घटाकर तीन प्रतिशत करने की घोषणा की। जबकि एक जनवरी, 2021 से 31 मार्च, 2021 के अवधि में स्टांप शुल्क घटाकर दो प्रतिशत करने का निर्णय किया है।
शहरी क्षेत्रों में स्टांप शुल्क पांच प्रतिशत मौजूदा समय में शहरी क्षेत्रों में स्टांप शुल्क पांच प्रतिशत और ग्रामीण क्षेत्र में चार प्रतिशत है। स्टांप शुल्क संपत्ति के लेनदेन पर राज्य सरकार की ओर से वसूला जाने वाला टैक्स है जो उनकी आय का एक बड़ा हिस्सा होता है।
मंत्रालय मांगों पर विचार करेगाइसके साथ ही दुर्गा शंकर मिश्रा ने उद्योग को भरोसा दिया कि मंत्रालय उनकी विभिन्न मांगों पर विचार करेगा। इसमें रीयल एस्टेट उद्योग की आयकर कानून में बदलाव की मांग भी शामिल है, जो बिल्डरों को फ्लैटों का बिक्री मूल्य कम करने में सक्षम बनाएगी।
अन्य राज्यों को दी सलाहदरअसल, आवास एवं शहरी मामलों के सचिव दुर्गा शंकर मिश्रा ने रियल एस्टेट में सुस्त पड़ी मांग को तेज करने के लिए राज्यों को स्टांप शुल्क कम करने का सुझाव दिया है।
महाराष्ट्र सरकार ने अच्छा कदम उठायामिश्रा ने कहा, ‘‘हमने सभी राज्यों को इसे कम करने की सलाह दी थी। महाराष्ट्र सरकार ने ऐसा किया है। हम अन्य राज्यों से भी ऐसा करने के लिए कहेंगे। महाराष्ट्र सरकार ने एक अच्छा कदम उठाया है। यह लागत घटाने पर सकारात्मक असर डालेगा।’’
कितना घटा स्टांप शुल्क आपको बता दें कि महाराष्ट्र सरकार ने बुधवार को एक सितंबर, 2020 से 31 दिसंबर, 2020 के बीच कराए जाने वाले आवासों के बिक्री दस्तावेजों पर स्टांप शुल्क घटाकर तीन प्रतिशत करने की घोषणा की। जबकि एक जनवरी, 2021 से 31 मार्च, 2021 के अवधि में स्टांप शुल्क घटाकर दो प्रतिशत करने का निर्णय किया है।
शहरी क्षेत्रों में स्टांप शुल्क पांच प्रतिशत मौजूदा समय में शहरी क्षेत्रों में स्टांप शुल्क पांच प्रतिशत और ग्रामीण क्षेत्र में चार प्रतिशत है। स्टांप शुल्क संपत्ति के लेनदेन पर राज्य सरकार की ओर से वसूला जाने वाला टैक्स है जो उनकी आय का एक बड़ा हिस्सा होता है।
मंत्रालय मांगों पर विचार करेगाइसके साथ ही दुर्गा शंकर मिश्रा ने उद्योग को भरोसा दिया कि मंत्रालय उनकी विभिन्न मांगों पर विचार करेगा। इसमें रीयल एस्टेट उद्योग की आयकर कानून में बदलाव की मांग भी शामिल है, जो बिल्डरों को फ्लैटों का बिक्री मूल्य कम करने में सक्षम बनाएगी।