News18 : Aug 18, 2020, 06:39 AM
नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी (BJP) की दिल्ली यूनिट (Delhi Unit) ने रविवार को घोषणा की कि करीब 200 मुस्लिम समुदाय के लोगों ने पार्टी ज्वाइन की है। ये लोग दिल्ली के शाहीन बाग (Shaheen Bagh), ओखला (Okhla) और निजामुद्दीन (Nizamuddin) इलाकों में रहते हैं। इन्हीं लोगों में से एक शहजाद अली (Shahzad Ali) भी हैं जिन्हें शाहीन बाग का प्रमुख एक्टिविस्ट बताया गया।
इसके बाद आम आदमी पार्टी ने भी प्रेस कॉन्फरेंस कर कहा कि अब ये सिद्ध हो गया है कि शाहीन बाग प्रदर्शन बीजेपी ने स्पॉन्सर किया था। लेकिन क्या शहजाद अली वाकई में शाहीन बाग के प्रमुख एक्टिविस्ट हैं? क्या वो किसी भी रूप में तीन महीने तक चले इस प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहे थे? इस प्रदर्शन का हिस्सा रहे लोग तो इस दावे को खारिज कर रहे हैं।
क्या कहते हैं शाहीनबाग के प्रदर्शन का हिस्सा रहे लोगइस आंदोलन का शुरुआत से हिस्सा रहीं कहकशा कहती हैं-शहजादी अली प्रदर्शन में हिस्सा ले रहे कई वॉलंटियर्स में से एक थे। मोटे तौर पर वो स्वघोषित सिक्योरिटी वॉलंटियर थे। मैं शरुआत से इस आंदोलन का हिस्सा रही लेकिन कभी शहजाद के साथ मुलाकात नहीं हुई। प्रदर्शनकारियों के बीच ज्यादा लोग उन्हें नहीं जानते।प्रदर्शन में रेगुलर नहीं आते थे शहजादप्रदर्शन का हिस्सा रहीं एक और महिला ऋतु कौशिक कहती हैं कि मैं शुरुआत से वहां रही और स्टेज की इन चार्ज भी थी। शहजाद तो वहां पर रेगुलर रूप से आते भी नहीं थे। उन्हें वहां कोई नहीं जानता था। मैंने उन्हें कभी स्टेज पर नहीं देखा। और अब उन्हें मुख्य एक्टिविस्ट बताया जा रहा है! ये प्रदर्शन महिलाओं का था और महिलाएं ही इसकी कर्ताधर्ता थीं। आखिर इस बात का क्या महत्व है कि कोई व्यक्ति जो कभी कभार प्रदर्शन में आता था, उसने कोई राजनीतिक पार्टी ज्वाइन कर ली है!ये सच है कि शहजाद अक्सर शाहीन बाग जाते रहे लेकिन कभी प्रदर्शन का नेतृत्व नहीं किया। उस प्रदर्शन का हिस्सा रहीं ज्यादा महिलाओं को उनका नाम तक नहीं मालूम है। शहजाद राष्ट्रीय उलेमा काउंसिल की दिल्ली यूनिट के सेक्रेटरी रहे हैं। इस संगठन को प्रो बीजेपी माना जाता है।वहीं भारतीय जनता पार्टी का कहना है कि शहजाद ने शाहीन बाग में प्रदर्शन नहीं किया। वास्तविकता में उन्होंने प्रदर्शनकारियों का विरोध किया था। बीजेपी की प्रवक्ता निखत अब्बास का कहना है कि शहजाद शाहीन बाग के रहने वाले और सोशल एक्टिविस्ट हैं। उन्होंने कभी प्रदर्शन नहीं किया। उन्होंने हमेशा वहां पर लोगों को प्रदर्शन समाप्त करने के लिए समझाने की कोशिश की।
इसके बाद आम आदमी पार्टी ने भी प्रेस कॉन्फरेंस कर कहा कि अब ये सिद्ध हो गया है कि शाहीन बाग प्रदर्शन बीजेपी ने स्पॉन्सर किया था। लेकिन क्या शहजाद अली वाकई में शाहीन बाग के प्रमुख एक्टिविस्ट हैं? क्या वो किसी भी रूप में तीन महीने तक चले इस प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहे थे? इस प्रदर्शन का हिस्सा रहे लोग तो इस दावे को खारिज कर रहे हैं।
क्या कहते हैं शाहीनबाग के प्रदर्शन का हिस्सा रहे लोगइस आंदोलन का शुरुआत से हिस्सा रहीं कहकशा कहती हैं-शहजादी अली प्रदर्शन में हिस्सा ले रहे कई वॉलंटियर्स में से एक थे। मोटे तौर पर वो स्वघोषित सिक्योरिटी वॉलंटियर थे। मैं शरुआत से इस आंदोलन का हिस्सा रही लेकिन कभी शहजाद के साथ मुलाकात नहीं हुई। प्रदर्शनकारियों के बीच ज्यादा लोग उन्हें नहीं जानते।प्रदर्शन में रेगुलर नहीं आते थे शहजादप्रदर्शन का हिस्सा रहीं एक और महिला ऋतु कौशिक कहती हैं कि मैं शुरुआत से वहां रही और स्टेज की इन चार्ज भी थी। शहजाद तो वहां पर रेगुलर रूप से आते भी नहीं थे। उन्हें वहां कोई नहीं जानता था। मैंने उन्हें कभी स्टेज पर नहीं देखा। और अब उन्हें मुख्य एक्टिविस्ट बताया जा रहा है! ये प्रदर्शन महिलाओं का था और महिलाएं ही इसकी कर्ताधर्ता थीं। आखिर इस बात का क्या महत्व है कि कोई व्यक्ति जो कभी कभार प्रदर्शन में आता था, उसने कोई राजनीतिक पार्टी ज्वाइन कर ली है!ये सच है कि शहजाद अक्सर शाहीन बाग जाते रहे लेकिन कभी प्रदर्शन का नेतृत्व नहीं किया। उस प्रदर्शन का हिस्सा रहीं ज्यादा महिलाओं को उनका नाम तक नहीं मालूम है। शहजाद राष्ट्रीय उलेमा काउंसिल की दिल्ली यूनिट के सेक्रेटरी रहे हैं। इस संगठन को प्रो बीजेपी माना जाता है।वहीं भारतीय जनता पार्टी का कहना है कि शहजाद ने शाहीन बाग में प्रदर्शन नहीं किया। वास्तविकता में उन्होंने प्रदर्शनकारियों का विरोध किया था। बीजेपी की प्रवक्ता निखत अब्बास का कहना है कि शहजाद शाहीन बाग के रहने वाले और सोशल एक्टिविस्ट हैं। उन्होंने कभी प्रदर्शन नहीं किया। उन्होंने हमेशा वहां पर लोगों को प्रदर्शन समाप्त करने के लिए समझाने की कोशिश की।