France News: फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने अपने पांच साल के कार्यकाल को पूरा करने की प्रतिबद्धता जताई है, भले ही हालिया राजनीतिक उथल-पुथल ने उनकी सरकार को कठिन परिस्थितियों में डाल दिया हो। प्रधानमंत्री मिशेल बार्नियर को संसद में अविश्वास प्रस्ताव के बाद इस्तीफा देना पड़ा, लेकिन मैक्रों ने स्पष्ट किया कि वे देश की स्थिरता और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अपने कर्तव्यों को जारी रखेंगे।
गुरुवार को एलिसी पैलेस से राष्ट्र को संबोधित करते हुए मैक्रों ने कहा,
"आपने मुझे जो लोकतांत्रिक रूप से पांच साल का कार्यकाल सौंपा है, मैं उसे पूरा करूंगा। मेरी जिम्मेदारी है कि मैं राज्य की निरंतरता, हमारे संस्थानों के सुचारु कामकाज और फ्रांसीसी लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करूं।"जल्द होगा नए प्रधानमंत्री का चयन
अपने संबोधन में मैक्रों ने संकेत दिया कि एक नई सरकार के गठन के लिए कदम उठाए जाएंगे। उन्होंने कहा,
"आज से, एक नया युग शुरू होना चाहिए, जहां सभी को फ्रांस के लिए काम करना होगा। आने वाले दिनों में मैं एक नया प्रधानमंत्री नियुक्त करूंगा, जो एक ऐसी सरकार का नेतृत्व करेंगे जो सभी राजनीतिक ताकतों का प्रतिनिधित्व करेगी और आम हित में काम करेगी।"राष्ट्रपति ने यह भी कहा कि नया प्रधानमंत्री सभी राजनीतिक दलों के साथ विचार-विमर्श करेंगे और एक सख्त तथा प्रभावी सरकार बनाएंगे।
बार्नियर के योगदान की सराहना
मैक्रों ने इस्तीफा दे चुके प्रधानमंत्री मिशेल बार्नियर की प्रशंसा करते हुए उनके समर्पण और दृढ़ता को सराहा। उन्होंने कहा,
"प्रधानमंत्री ने देश के लिए मुश्किल समय में कार्य किया, जब अन्य लोग आगे आने से बच रहे थे। मैं उनके और उनकी टीम के प्रयासों के लिए धन्यवाद देता हूं।"मैक्रों ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म
एक्स पर भी बार्नियर के प्रति आभार व्यक्त करते हुए लिखा,
"मैं मिशेल बार्नियर को हमारे देश के लिए किए गए उनके काम के लिए धन्यवाद देता हूं।"कैसे गिरी बार्नियर सरकार
फ्रांसीसी संसद में 577 सीटें हैं, जिनमें से 331 सांसदों ने बार्नियर सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में मतदान किया। इस राजनीतिक घटनाक्रम का मुख्य कारण सरकार द्वारा बजट उपायों को संसदीय मंजूरी के बिना पारित करने के लिए विशेष शक्तियों का उपयोग करना था। वामपंथी और दक्षिणपंथी दलों ने इस कदम का विरोध करते हुए सरकार के खिलाफ प्रस्ताव पेश किया।बार्नियर सरकार सिर्फ 91 दिनों तक चल सकी, और यह फ्रांस की छह दशकों में पहली सरकार बन गई जो अविश्वास मत के जरिए गिरी। यह अस्थिरता ऐसे समय में आई है जब देश आर्थिक चुनौतियों और बजट घाटे से जूझ रहा है।
नए युग की शुरुआत की उम्मीद
राष्ट्रपति मैक्रों ने फ्रांस के भविष्य को लेकर महत्वाकांक्षा और एकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि अब समय आ गया है कि फ्रांस के सभी राजनीतिक दल साझा लक्ष्यों पर काम करें और देश को आगे ले जाने के लिए नए समझौते करें। मैक्रों ने अपने भाषण में कहा,
"हम विभाजन या निष्क्रियता बर्दाश्त नहीं कर सकते। फ्रांस को आगे बढ़ने के लिए सभी का सहयोग चाहिए।"इस बयान के साथ, मैक्रों ने स्पष्ट कर दिया कि वे वर्तमान राजनीतिक संकट को अवसर में बदलने के लिए प्रतिबद्ध हैं और फ्रांसीसी जनता के हित में सभी जरूरी कदम उठाएंगे।