J&K Election 2024 / 'तीन खानदानों और नौजवानों के बीच है चुनाव'- डोडा में विपक्ष पर गरजे PM मोदी

जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव के प्रचार में सभी दल सक्रिय हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने डोडा में जनसभा को संबोधित किया और कहा कि जम्मू-कश्मीर का चुनाव तीन परिवारों और युवाओं के बीच है। उन्होंने विकास और आतंकवाद के खिलाफ अपनी सरकार की उपलब्धियों का हवाला देते हुए युवाओं से समर्थन मांगा।

Vikrant Shekhawat : Sep 14, 2024, 02:20 PM
J&K Election 2024: जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनावों की तैयारी जोर-शोर से चल रही है। सभी प्रमुख राजनीतिक दल अपने-अपने प्रत्याशियों के लिए समर्थन जुटाने में लगे हैं, लेकिन इस बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने डोडा में अपनी चुनावी रैली से एक नई दिशा की ओर इशारा किया। पीएम मोदी ने अपने भाषण में न केवल जम्मू-कश्मीर के वर्तमान स्थिति पर चिंता जताई, बल्कि इसके भविष्य के लिए भी अपनी योजनाओं का खुलासा किया।

पीएम मोदी का उद्घाटन भाषण: जनता का उत्साह और भरोसा

डोडा में आयोजित एक चुनावी जनसभा को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा, "आप सब यहां डोडा, किश्तवाड़ और रामबन के विभिन्न हिस्सों से आए हैं। आपने घंटों की यात्रा की है, लेकिन आपके चेहरे पर कोई थकावट नहीं दिखती। यह जोश और उत्साह देखकर मैं दोगुनी मेहनत से आपके विश्वास को पूरा करूंगा। हम मिलकर एक सुरक्षित और समृद्ध जम्मू-कश्मीर का निर्माण करेंगे, और यह मोदी की गारंटी है।"

परिवारवाद पर निशाना

प्रधानमंत्री ने अपने भाषण में जम्मू-कश्मीर में परिवारवाद के प्रभाव पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा, "जम्मू-कश्मीर का चुनाव इस बार हमारे राज्य के भविष्य को तय करने वाला है। आजादी के बाद से ही इस राज्य को विदेशी ताकतों के निशाने पर रखा गया। इसके बाद परिवारवाद ने इसे खोखला करना शुरू कर दिया। जिन राजनीतिक दलों पर आपने भरोसा किया, उन्होंने आपके बच्चों की चिंता नहीं की। वे सिर्फ अपने परिवार को आगे बढ़ाते रहे, जबकि आपके नौजवान आतंकवाद की चपेट में आते गए।"

पंचायत और स्थानीय चुनावों का सुधार

पीएम मोदी ने बताया कि कैसे 2000 के बाद से पंचायत और बीडीसी चुनावों का आयोजन नहीं हुआ। उन्होंने कहा, "2014 में सरकार में आने के बाद मैंने जम्मू-कश्मीर में युवाओं की नई नेतृत्व क्षमता को उभारने का प्रयास किया। 2018 में पंचायत चुनाव कराए गए, 2019 में बीडीसी चुनाव हुए, और 2020 में डीडीसी चुनावों का आयोजन हुआ। यह सब इसलिए किया गया ताकि लोकतंत्र की जड़ों को मजबूती मिले और युवा राजनीति में आगे आएं।"

तीन खानदान बनाम युवा नेतृत्व

प्रधानमंत्री ने विधानसभा चुनाव को तीन प्रमुख खानदानों और जम्मू-कश्मीर के युवाओं के बीच मुकाबला बताया। उन्होंने कांग्रेस, नेशनल कॉन्फ्रेंस और पीडीपी को निशाने पर लेते हुए कहा, "इन तीन खानदानों ने जम्मू-कश्मीर को दशकों तक बर्बादी दी है। उन्होंने करप्शन को बढ़ावा दिया, और यहां के नौजवानों की क्षमताओं को नकारा। अब चुनाव में युवाओं का एक नया नेतृत्व उभर रहा है, जो बदलाव लाने की क्षमता रखता है।"

जम्मू-कश्मीर में विकास की गारंटी

पीएम मोदी ने जम्मू-कश्मीर में हुए विकास कार्यों की तारीफ की और कहा, "बीते 10 वर्षों में जम्मू-कश्मीर में जो बदलाव आए हैं, वे किसी सपने से कम नहीं हैं। पहले दिन ढलते ही अघोषित कर्फ्यू लग जाता था, लेकिन अब स्थिति बदल रही है। हम नई रेल लाइनों और मेडिकल कॉलेजों के जरिए यहां की कनेक्टिविटी और स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत कर रहे हैं।"

टूरिज्म और फिल्म उद्योग को प्रोत्साहन

प्रधानमंत्री ने जम्मू-कश्मीर में टूरिज्म और फिल्म उद्योग के विकास पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा, "हम एक नई फिल्म नीति ला रहे हैं ताकि देश ही नहीं, बल्कि दुनिया भर से फिल्म निर्माता यहां आ सकें। साथ ही, हम पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए बेहतर कनेक्टिविटी पर ध्यान दे रहे हैं।"

भविष्य की योजनाएँ और सुरक्षा

प्रधानमंत्री ने यह भी बताया कि भाजपा सरकार ने गरीब परिवारों के इलाज के लिए सात लाख रुपये तक का मुफ्त इलाज देने का ऐलान किया है। इसके अलावा, दूरदराज के गांवों को जरूरी सेवाओं से जोड़ने की योजनाएं भी चल रही हैं।

निष्कर्ष

पीएम मोदी का डोडा में दिया गया भाषण स्पष्ट रूप से दर्शाता है कि चुनावी माहौल में राजनीति का जोर कितना बढ़ गया है। प्रधानमंत्री ने चुनाव को सिर्फ एक राजनीतिक प्रतिस्पर्धा नहीं, बल्कि जम्मू-कश्मीर के भविष्य का निर्णायक पल बताया है। उन्होंने एक तरफ परिवारवाद की राजनीति की आलोचना की, और दूसरी तरफ विकास और युवा नेतृत्व के माध्यम से राज्य की नई दिशा की बात की।

18 सितंबर को मतदान की प्रक्रिया के साथ ही जम्मू-कश्मीर का भविष्य तय होगा। जनता के पास एक मौका है कि वह अपने राज्य के विकास और समृद्धि के लिए एक नया विकल्प चुन सके।