देश / PUBG खेलने के लिए पोते ने दादा के पेंशन खाते से ट्रांसफर किए 2.3 लाख रुपये

हाल ही में केंद्र सरकार द्वारा बैन किए गए मोबाइल गेम ऐप पबजी के जरिए बच्चों को काफी बुरी लत लग गई थी। ऐप के बैन होने के बाद एक वाकया सामने आया है, जिसमें एक 15 साल के पोते ने अपने दादा के पेंशन खाते का गलत इस्तेमाल इस गेम को खेलने के लिए किया। पोते ने दादा के पेंशन खाते से दो लाख रुपये से अधिक रकम को गेम खेलने में उड़ा दिया।

Zee News : Sep 09, 2020, 07:17 AM
नई दिल्लीः हाल ही में केंद्र सरकार द्वारा बैन किए गए मोबाइल गेम ऐप पबजी (PUBG) के जरिए बच्चों को काफी बुरी लत लग गई थी। ऐप के बैन होने के बाद एक वाकया सामने आया है, जिसमें एक 15 साल के पोते ने अपने दादा के पेंशन खाते का गलत इस्तेमाल इस गेम को खेलने के लिए किया। पोते ने दादा के पेंशन खाते से दो लाख रुपये से अधिक रकम को गेम खेलने में उड़ा दिया। 

दिल्ली पुलिस की जांच में हुआ खुलासा

इस मामले में जानकारी देते हुए दिल्ली पुलिस की साइबर सेल ने बताया कि 15 साल के लड़के ने अपने दादा जी के पेंशन अकाउंट से इतनी बड़ी रकम निकाली और वह पबजी गेम में फंड कर उसका आनंद लूट रहा था। ऐसा वह महीनों से कर रहा था। शिकायतकर्ता द्वारा अपने मोबाइल फोन पर एक संदेश प्राप्त होने के बाद मामले का खुलासा हुआ। मोबाइल पर आए मैसेज के मुताबिक शिकायतकर्ता के अकाउंट से 2,500 रुपये डेबिट किए गए थे जिसके बाद उनके पास 275 रुपये बचे हुए थे। उन्होंने तुरंत अपने बैंक से संपर्क किया जहां उन्हें बताया गया उनके पेंशन खाते से 2।34 लाख रुपये स्थानांतरित किए गए हैं।

डीसीपी अल्फोंस के मुताबिक, लड़के ने हमें बताया कि उनके पबजी खाते को किसी विशेष लेवल पर पहुंचने के बाद हैक कर लिया गया था। डीसीपी ने बताया कि हमने उस आदमी की पहचान करने के लिए पेटीएम से संपर्क किया, जिसके खाते में पैसे ट्रांसफर किए जा रहे थे। किशोर ने हमें बताया कि उसके नाबालिग दोस्त ने उससे उसका पेटीएम आईडी और पासवर्ड उधार देने का अनुरोध किया था। इसके बाद ही हमें पता चला कि लड़का शिकायतकर्ता का पोता था।

तब पूछताछ की गई तो उसने जानकारी दी। पुलिस के मुताबिक, लड़का अपने दादा के फोन से ट्रांजेक्शन का मैसेज डिलीट कर देता था। पुलिस ने जांच में पाया कि इस व्यक्ति ने PUBG के लिए Google Play पर भुगतान करने के लिए खाते का उपयोग किया था। आरोपी का पता अपने पोते के रूप में होने पर दादाजी ने केस को बंद करवा दिया।