Vikrant Shekhawat : Dec 09, 2020, 04:47 PM
Delhi: कृषि कानून पर किसानों द्वारा जारी आंदोलन के बीच बुधवार को केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक हुई। बैठक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में आयोजित की गई, जिसके बाद केंद्रीय मंत्रियों प्रकाश जावड़ेकर, रविशंकर प्रसाद और संतोष गंगवार ने कैबिनेट के फैसलों की जानकारी दी। केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद के मुताबिक, सरकार देश में 1 करोड़ डेटा सेंटर खोलेगी। इस योजना का नाम प्रधान मंत्री वाई-फाई एक्सेस इंटरफेस है, जिसके माध्यम से देश में वाई-फाई क्रांति लाई जाएगी।
इसके तहत सरकार पब्लिक डेटा ऑफिस (पीडीओ) खोलेगी, इसके लिए किसी लाइसेंस की जरूरत नहीं होगी। किसी भी मौजूदा दुकान को डेटा कार्यालय में बदल दिया जाएगा। सरकार को 7 दिनों में डेटा ऑफिस, डेटा एग्रीगेटर, ऐप सिस्टम के लिए केंद्र खोलने की अनुमति दी जाएगी। केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि लक्षद्वीप के द्वीपों में फाइबर कनेक्टिविटी भी जोड़ी जाएगी। 1000 दिनों में कोच्चि से लक्षद्वीप के 11 द्वीपों तक कनेक्टिविटी पहुंचाई जाएगी।
कैबिनेट ने दी आत्मनिर्भर भारत रोजगार योजना, वित्त मंत्री ने की घोषणासंतोष गंगवार के अनुसार, जब मोदी सरकार सत्ता में आई थी, तब संगठित क्षेत्र में 6 करोड़ नौकरियां थीं, जो अब बढ़कर 10 करोड़ हो गई हैं। इसके अलावा, केंद्रीय मंत्रिमंडल ने अरुणाचल प्रदेश, असम के दो जिलों में यूएसओएफ योजना को मंजूरी दी है। कैबिनेट ब्रीफिंग के दौरान, जब मंत्रियों से किसानों के आंदोलन को बदलने और कृषि कानून में बदलाव के लिए कहा गया था, तो जवाब था कि सरकार किसानों के साथ मिलकर काम कर रही है।
इसके तहत सरकार पब्लिक डेटा ऑफिस (पीडीओ) खोलेगी, इसके लिए किसी लाइसेंस की जरूरत नहीं होगी। किसी भी मौजूदा दुकान को डेटा कार्यालय में बदल दिया जाएगा। सरकार को 7 दिनों में डेटा ऑफिस, डेटा एग्रीगेटर, ऐप सिस्टम के लिए केंद्र खोलने की अनुमति दी जाएगी। केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि लक्षद्वीप के द्वीपों में फाइबर कनेक्टिविटी भी जोड़ी जाएगी। 1000 दिनों में कोच्चि से लक्षद्वीप के 11 द्वीपों तक कनेक्टिविटी पहुंचाई जाएगी।
स्व-निर्भर भारत रोजगार योजना को मंजूरीकेंद्रीय मंत्री संतोष गंगवार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में जानकारी दी कि देश में आत्मनिर्भर भारत रोजगार योजना लागू की जाएगी, जिसके तहत 2020-2023 तक कुल 22 हजार करोड़ रुपये खर्च होंगे। इस योजना के तहत लगभग 58.5 लाख कर्मचारियों को लाभ मिलेगा। मार्च 2020 से अगले साल तक जो लोग नौकरी पर लगे हुए हैं, उनका EPF अंशदान सरकार द्वारा दिया जाएगा। 1000 से कम कर्मचारियों वाली कंपनियों के लिए, सरकार 24 प्रतिशत ईपीएफ योगदान देगी।#Cabinet approves setting up of public Wi-Fi networks to provide public Wi-Fi service through Public Data Offices without levy of any License Fee; Public Wi-Fi Access Network Interface will be known as PM-WANI; proposal will promote growth of public Wi-Fi networks in the country
— K.S. Dhatwalia (@DG_PIB) December 9, 2020
कैबिनेट ने दी आत्मनिर्भर भारत रोजगार योजना, वित्त मंत्री ने की घोषणासंतोष गंगवार के अनुसार, जब मोदी सरकार सत्ता में आई थी, तब संगठित क्षेत्र में 6 करोड़ नौकरियां थीं, जो अब बढ़कर 10 करोड़ हो गई हैं। इसके अलावा, केंद्रीय मंत्रिमंडल ने अरुणाचल प्रदेश, असम के दो जिलों में यूएसओएफ योजना को मंजूरी दी है। कैबिनेट ब्रीफिंग के दौरान, जब मंत्रियों से किसानों के आंदोलन को बदलने और कृषि कानून में बदलाव के लिए कहा गया था, तो जवाब था कि सरकार किसानों के साथ मिलकर काम कर रही है।