Elon Musk On Tariff / राष्ट्रपति ट्रंप से Elon Musk ने की नए टैरिफ वापस लेने की अपील, जानें पूरा मामला

दुनिया के सबसे अमीर व्यक्ति इलॉन मस्क ने अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप से नई टैरिफ नीति वापस लेने की मांग की है। अमेरिका-चीन ट्रेड वॉर की आशंका बढ़ गई है। टेस्ला को भारी नुकसान हुआ है। मस्क पहले समर्थक थे, अब विरोध में हैं। व्यापारियों में भी नाराजगी है।

Elon Musk On Tariff: दुनिया के सबसे अमीर व्यक्ति और टेस्ला के सीईओ इलॉन मस्क ने अमेरिका की नई टैरिफ नीति पर खुलकर असहमति जताई है। मस्क ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से सीधी अपील करते हुए इस नीति को वापस लेने की मांग की है। वॉशिंगटन पोस्ट की हालिया रिपोर्ट के अनुसार, मस्क ने इस नीति को वैश्विक व्यापार के लिए नुकसानदायक बताया है और कहा कि इससे न केवल अमेरिका, बल्कि पूरी दुनिया को आर्थिक झटका लग सकता है।

क्या है नई टैरिफ नीति?

ट्रंप प्रशासन ने चीन को चेतावनी दी है कि यदि वह जवाबी शुल्क को वापस नहीं लेता, तो अमेरिका 50 प्रतिशत अतिरिक्त टैरिफ लगाएगा। इस ऐलान के बाद वैश्विक बाजारों में फिर से ट्रेड वॉर की आहट सुनाई देने लगी है। इसका सीधा असर अंतरराष्ट्रीय व्यापार और निवेश के माहौल पर पड़ता दिख रहा है।

व्यापार के मुद्दे पर मस्क फिर ट्रंप के खिलाफ

इलॉन मस्क और ट्रंप प्रशासन के बीच व्यापार नीतियों को लेकर यह पहला टकराव नहीं है। 2020 में भी मस्क ने टैरिफ के विरोध में मुकदमा दायर किया था। हालांकि शुरुआत में मस्क ने ट्रंप की नीतियों का समर्थन किया था, लेकिन जब उन्हें इसके दुष्प्रभाव व्यापार और निवेश पर दिखने लगे, तो वे विरोध में उतर आए।

टेस्ला को उठाना पड़ा खामियाजा

नई टैरिफ नीति का प्रभाव मस्क की इलेक्ट्रिक कार कंपनी टेस्ला पर भी साफ तौर पर देखा गया है। टेस्ला के शेयरों में भारी गिरावट आई है, जिससे निवेशकों को करोड़ों डॉलर का नुकसान हुआ। टैरिफ की वजह से टेस्ला के अंतरराष्ट्रीय सप्लाई चेन और पार्ट्स इंपोर्ट पर भी संकट मंडरा रहा है, जिससे उत्पादन लागत में इजाफा हो गया है।

बढ़ती वैश्विक चिंताएं और कारोबारी लामबंदी

मस्क अकेले नहीं हैं जो इस नीति के खिलाफ आवाज उठा रहे हैं। अमेरिका और अन्य देशों के कई दिग्गज कारोबारी अब एक अनौपचारिक गठबंधन बनाने की तैयारी में हैं, जो ट्रंप प्रशासन पर उदार व्यापार नीति अपनाने का दबाव बनाएगा। उप-राष्ट्रपति जेडी वेंस से भी इस मुद्दे पर हस्तक्षेप की अपील की गई है।

क्या बदलेगा ट्रंप का रुख?

हालांकि मस्क की सीधी अपील के बावजूद ट्रंप प्रशासन ने अब तक अपनी नीति में कोई नरमी नहीं दिखाई है। ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या कारोबारी जगत का दबाव ट्रंप को अपने फैसले पर पुनर्विचार करने के लिए मजबूर करेगा।