Vikrant Shekhawat : May 12, 2022, 08:04 PM
नई दिल्ली। पेट्रोल-डीजल, रसोई गैस, घरेलू प्राकृतिक गैस, सीएनजी, पीएनजी की कीमतों में अप्रैल में बेतहाशा वृद्धि हुई थी। इससे इस बात की आशंका गहरा गई थी कि कीमतों में बढ़ोतरी से महंगाई भड़क सकती है। यह आशंका गुरुवार को तब पूरी तरह से सच साबित हो गई जब सरकार की ओर से अप्रैल 2022 के खुदरा महंगाई (Retail Inflation) के आंकड़े जारी किए गए।गुरुवार को जारी सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, अप्रैल में उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (CPI) आधारित महंगाई दर बढ़कर 7।79 फीसदी पर पहुंच गई। यह पिछले 8 साल का सर्वोच्च स्तर है। इससे पहले सितंबर 2014 में खुदरा महंगाई ने इस स्तर को छुआ था। इससे पिछले महीने मार्च में भी खुदरा महंगाई भड़क कर 6.95 फीसदी पर पहुंच गई थी।खाद्य महंगाई में भी तेजीआंकड़ों के मुताबिक, अप्रैल में खाने-पीने के सामानों की कीमतों में भी काफी तेजी आई है। इस महीने खाद्य महंगाई (Food inflation) मार्च के 7.68 फीसद से बढ़कर 8.38 फीसद पर पहुंच गई है। उपभोक्ता मूल्य सूचकांक यानी सीपीआई में खाद्य महंगाई की हिस्सेदारी करीब आधी है। ग्लोबल स्तर पर खाद्य तेल एवं अनाजों की कीमतों में तेजी सहित घरेलू स्तर पर फल-सब्जियों की कीमतों में तेज उछाल का असर खाद्य महंगाई पर दिख रहा है।
रिजर्व बैंक पर बढ़ा दबावमहंगाई को नियंत्रित करने का रिजर्व बैंक पर दबाव और बढ़ गया है। आने वाले दिनों में रिजर्व बैंक की ओर से ब्याज दरों में बढ़ोतरी के कई दौर देखने को मिल सकते हैं। महंगाई पर लगाम लगाने के लिए इसी महीने रिजर्व बैंक रेपो रेट (Repo Rate) बढ़ाया था। रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा था कि अप्रैल में महंगाई भड़क सकती है।अनुमान है कि वित्त वर्ष 2022-23 में महंगाई उच्च स्तर पर ही बनी रहेगी। इससे पहले वित्त मंत्रालय ने अपनी मासिक आर्थिक समीक्षा रिपोर्ट में कहा था कि सरकार और आरबीआई द्वारा उठाए गए कदमों से ही मौजूदा वित्त वर्ष में महंगाई कम हो सकती है। वित्त मंत्रालय ने कहा है कि वह महंगाई को कम करने के कदम उठाएगा।
रिजर्व बैंक पर बढ़ा दबावमहंगाई को नियंत्रित करने का रिजर्व बैंक पर दबाव और बढ़ गया है। आने वाले दिनों में रिजर्व बैंक की ओर से ब्याज दरों में बढ़ोतरी के कई दौर देखने को मिल सकते हैं। महंगाई पर लगाम लगाने के लिए इसी महीने रिजर्व बैंक रेपो रेट (Repo Rate) बढ़ाया था। रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा था कि अप्रैल में महंगाई भड़क सकती है।अनुमान है कि वित्त वर्ष 2022-23 में महंगाई उच्च स्तर पर ही बनी रहेगी। इससे पहले वित्त मंत्रालय ने अपनी मासिक आर्थिक समीक्षा रिपोर्ट में कहा था कि सरकार और आरबीआई द्वारा उठाए गए कदमों से ही मौजूदा वित्त वर्ष में महंगाई कम हो सकती है। वित्त मंत्रालय ने कहा है कि वह महंगाई को कम करने के कदम उठाएगा।