India-Bangladesh Relation / हसीना की प्रखर प्रतिद्वंद्वी BNP का बयान, कहा-भारत बांग्लादेश से संबंधों पर करे पुनर्विचार

बीएनपी ने पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के बाद भारत-बांग्लादेश रिश्तों पर बयान दिया। बीएनपी नेता अमीर खुसरो महमूद चौधरी ने आरोप लगाया कि पूर्व राजनयिक भारत को भ्रमित कर रहे हैं कि हसीना के बिना संबंध खराब होंगे। उन्होंने कहा कि बांग्लादेश अपने पड़ोसी भारत से मजबूत संबंध चाहता है।

Vikrant Shekhawat : Aug 30, 2024, 07:00 AM
India-Bangladesh Relation: पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के अपदस्थ होने के बाद, उनकी मुख्य प्रतिद्वंद्वी पार्टी बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) ने भारत-बांग्लादेश के रिश्तों पर एक महत्वपूर्ण बयान जारी किया है। बीएनपी के वरिष्ठ नेता अमीर खुसरो महमूद चौधरी ने आरोप लगाया है कि कुछ पूर्व राजनयिकों, नौकरशाहों, और राजनीतिक नेताओं ने भारत को भ्रमित किया है कि शेख हसीना के नेतृत्व वाली सरकार के बिना भारत-बांग्लादेश संबंधों में तनाव आएगा।

चौधरी ने कहा कि बीएनपी, जो कि खालिदा जिया के नेतृत्व में है, बांग्लादेश और भारत के बीच मजबूत संबंधों की पक्षधर है। उन्होंने भारत के कुछ नेताओं और संस्थाओं पर यह आरोप लगाया कि वे बांग्लादेश के आंतरिक मामलों को बढ़ा-चढ़ा कर पेश कर रहे हैं। खासकर, उन्होंने उन आरोपों को खारिज किया जिनमें कहा गया था कि शेख हसीना के बिना बांग्लादेश में कट्टरपंथियों का प्रभाव बढ़ेगा और अल्पसंख्यकों की सुरक्षा खतरे में होगी।

चौधरी ने यह भी स्पष्ट किया कि बांग्लादेश का संविधान सभी नागरिकों को समान अधिकार देता है और किसी भी सरकार का अल्पसंख्यकों पर हमले का समर्थन नहीं होता। उन्होंने भारतीय नेताओं से आग्रह किया कि वे बांग्लादेश के आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप न करें और बांग्लादेश के आंतरिक मुद्दों पर टिप्पणी करने से बचें।

हसीना के सरकार के गिरने के बाद बांग्लादेश में हुई हिंसा और अल्पसंख्यक हिंदुओं पर हमलों के आरोपों के संदर्भ में चौधरी ने कहा कि बांग्लादेश में ऐसी घटनाएं दुर्लभ हैं और देश का संविधान अल्पसंख्यकों के अधिकारों की रक्षा करता है। उन्होंने यह भी जोड़ा कि भारत के साथ अच्छे संबंध बनाए रखना बीएनपी की प्राथमिकता है, और उनके पार्टी का उद्देश्य दोनों देशों के बीच स्थिर और सकारात्मक संबंध सुनिश्चित करना है।