Vikrant Shekhawat : Dec 19, 2020, 01:28 PM
शीतलहर, गलन के कारण प्रदेश में सर्दी का सितम जारी हैं। आज लगातार दूसरे दिन भी प्रदेश के कई हिस्सों में पारा माइनस में रहा। माउंट आबू, चूरू सहित कई जगहों पर तापमान माइनस में जाने से इन इलाकों में सब्जियों की खेती में नुकसान होने की आशंका बढ़ गई। मौसम विभाग ने 22 दिसंबर तक प्रदेश उत्तर-पूर्वी क्षेत्र के बीकानेर, चूरू, झुंझुनूं, गंगानगर, हनुमानगढ़, बीकानेर और सीकर जिलों में शीत लहर चलने का येल्लो अलर्ट जारी किया हैं।तेज गलन से हाथ-पैर हुए सुन
मौसम विभाग से जारी रिपोर्ट को देखे तो कल के मुकाबले जरूर आज तापमान में थोड़ी बढ़ोतरी दर्ज हुई, लेकिन सर्दी से जो राहत मिलनी चाहिए थी वह नहीं मिली। तेज सर्दी और गलन के कारण उत्तर-पूर्वी राजस्थान में तो लोगों के हाथ-पैर मानो सुन पड़ने लग गए। हालांकि दिन में सूरज की तेज धूप निकलने के बाद लोगों को राहत मिलती हैं। आज के तापमान की बात करें तो सबसे कम माउंट आबू में माइनस 1.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया। इसके बाद सीकर के फतेहपुर में पारा माइनस 0.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
सब्जी की खेती को पहुंचा सकती है नुकसान
कृषि महाविद्यालय फतेहपुर के डीन प्रोफेसर शीशराम डाका ने बताया कि रबी की फसल जैसे गेंहू, सरसों, चने के लिए तो इस समय सर्दी अच्छी है, लेकिन कई स्थानों पर सब्जी जैसे टमाटर, बैंगन, मिर्ची, गोभी की खेती की गई है, जिनके खराब होने की आशंका हैं। ज्यादा सर्दी के कारण इन फसलों की पत्तियां सिकुड़ जाती है और ग्रोथ रूक जाती हैं। ऐसे में इन्हे बचाने के लिए या तो हल्की सिंचाई की जाए या सूखी पत्तियां, लकड़ियां आदि जलाकर धुंआ किया जाए। इसके अलावा तीसरा विकल्प फसलों को कवर करके भी तेज सर्दी से बचाया जा सकता हैं।
मौसम विभाग से जारी रिपोर्ट को देखे तो कल के मुकाबले जरूर आज तापमान में थोड़ी बढ़ोतरी दर्ज हुई, लेकिन सर्दी से जो राहत मिलनी चाहिए थी वह नहीं मिली। तेज सर्दी और गलन के कारण उत्तर-पूर्वी राजस्थान में तो लोगों के हाथ-पैर मानो सुन पड़ने लग गए। हालांकि दिन में सूरज की तेज धूप निकलने के बाद लोगों को राहत मिलती हैं। आज के तापमान की बात करें तो सबसे कम माउंट आबू में माइनस 1.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया। इसके बाद सीकर के फतेहपुर में पारा माइनस 0.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
सब्जी की खेती को पहुंचा सकती है नुकसान
कृषि महाविद्यालय फतेहपुर के डीन प्रोफेसर शीशराम डाका ने बताया कि रबी की फसल जैसे गेंहू, सरसों, चने के लिए तो इस समय सर्दी अच्छी है, लेकिन कई स्थानों पर सब्जी जैसे टमाटर, बैंगन, मिर्ची, गोभी की खेती की गई है, जिनके खराब होने की आशंका हैं। ज्यादा सर्दी के कारण इन फसलों की पत्तियां सिकुड़ जाती है और ग्रोथ रूक जाती हैं। ऐसे में इन्हे बचाने के लिए या तो हल्की सिंचाई की जाए या सूखी पत्तियां, लकड़ियां आदि जलाकर धुंआ किया जाए। इसके अलावा तीसरा विकल्प फसलों को कवर करके भी तेज सर्दी से बचाया जा सकता हैं।
ये रहा आज शहरों में तापमान