Asaduddin Owaisi / 'रजाकार पाकिस्तान चले गए लेकिन वफादार भारत में ही हैं'- हैदराबाद में बोले असदुद्दीन औवेसी

तेलंगाना विधानसभा चुनाव में अब ज्यादा समय नहीं बचा है। राज्य में इस साल के अंत तक चुनाव हो जाएंगे। पार्टियों ने चुनावी रण की तैयारी शुरू कर दी है। इसी क्रम में रविवार को ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) के राष्ट्रीय अध्यक्ष और हैदराबाद से सांसद असदुद्दीन औवेसी ने भारतीय जनता पार्टी पर बड़ा हमला बोला है। उन्होंने कहा कि देश की आजादी के लिए बीजेपी और आरएसएस ने लड़ाई नहीं लड़ी थी।

Vikrant Shekhawat : Sep 17, 2023, 05:54 PM
Asaduddin Owaisi: तेलंगाना विधानसभा चुनाव में अब ज्यादा समय नहीं बचा है। राज्य में इस साल के अंत तक चुनाव हो जाएंगे। पार्टियों ने चुनावी रण की तैयारी शुरू कर दी है। इसी क्रम में रविवार को ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) के राष्ट्रीय अध्यक्ष और हैदराबाद से सांसद असदुद्दीन औवेसी ने भारतीय जनता पार्टी पर बड़ा हमला बोला है। उन्होंने कहा कि देश की आजादी के लिए बीजेपी और आरएसएस ने लड़ाई नहीं लड़ी थी।

उन्होंने कहा कि देश के गृह मंत्री अमित शाह झूठ बोल रहे हैं कि बिना खून का एक कतरा गिरे हैदराबाद देश में मिल गया था। ओवेसी ने कहा कि जो रजाकार थे वो पाकिस्तान चले गए और जो वफादार हैं वो आज भी यहीं हैं। आज कुछ लोग मुझे रजाकार की औलाद कहते हैं क्योंकि मेरे मुंह पर दाढ़ी है और सिर पर टोपी है। लेकिन वे जो भी कहें, जो भी बोलें लेकिन मैं भारत का नागरिक हूं। मेरे दादा, परदादा यहीं के थे। 

बंटवारे के समय रजाकार पाकिस्तान चले गए- ओवैसी 

उन्होंने कहा कि अल्लाह मालिक है कि हम उनके वंशज हैं, जिन्होंने खौफ की आंखों में आंखें डालकार जिन्दगी जी थी। आज बीजेपी आरएसएस वाले हमपर जितना भी ज़ुल्म कर लें, मगर हम वतन के लिए लड़ेंगे। अमित शाह पर हमला बोलते हुए ओवैसी ने कहा आप आबेद हसन को जानते हो। जय हिंद का नारा इन्होंने दिया, वो बोस के साथ थे। उन्होंने कहा कि बंटवारे के समय रजाकार तो चले गए लेकिन सावरकर और गोडसे की औलादें अभी बच गयी हैं और उनको भगाना ज़रूरी है।

मुझे इंडिया गठबंधन में शामिल होने के लिए नहीं बुलाया गया- ओवैसी 

वहीं इससे पहले एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि मुझे इंडिया गठबंधन में शामिल होने के लिए नहीं बुलाया गया और मुझे इसकी बिलकुल भी चिंता नहीं है। इस गठबंधन में उत्तर भारत, महाराष्ट्र और पूर्वोत्तर के कई दल शामिल नहीं हैं। उन्होंने कहा कि इस गठबंधन में शामिल दल अपने आप ही धर्मनिरपेक्षता के संरक्षक बन गए हैं।