Rajasthan / करौली हिंसा के आरोपियों पर कसा शिकंजा, जयपुर मेयर के पति सहित चार के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी

करौली हिंसा मामले में फरार चल रहे चार आरोपियों के खिलाफ कोर्ट ने गिरफ्तारी वारंट जारी किया है। दंगा के मुख्य आरोपियों में जयपुर ग्रेटर नगर निगम मेयर सौम्या गुर्जर के पति राजाराम गुर्जर, हिंदू सेना के प्रदेश अध्यक्ष साहब सिंह गुर्जर का भी नाम शामिल है, जो हिंसा के बाद से फरार चल रहे हैं।

Vikrant Shekhawat : Apr 29, 2022, 03:25 PM
करौली हिंसा मामले में फरार चल रहे चार आरोपियों के खिलाफ कोर्ट ने गिरफ्तारी वारंट जारी किया है। दंगा के मुख्य आरोपियों में जयपुर ग्रेटर नगर निगम मेयर सौम्या गुर्जर के पति राजाराम गुर्जर, हिंदू सेना के प्रदेश अध्यक्ष साहब सिंह गुर्जर का भी नाम शामिल है, जो हिंसा के बाद से फरार चल रहे हैं। 


एसआईटी टीम प्रभारी एएसपी किशोर बुटोलिया ने बताया कि सीजेएम कोर्ट के न्यायाधीश ने हिंसा मामले में फरार चल रहे करौली नगर परिषद के पूर्व सभापति राजाराम गुर्जर, पार्षद मतलूब अहमद, जिम के मालिक अंची खान और साहब सिंह गुर्जर के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया है। हिंसा को लेकर अब तक 41 एफआईआर दर्ज की जा चुकी हैं। इनमें एक करौली पुलिस और बाकी अलग-अलग पीड़ितों ने मामला दर्ज कराया है। मामले में पुलिस ने वीडियो फुटेज, कॉल, लोकेशन आदि के आधार पर अब तक लगभग 144 आरोपियों को चिंहित किया है।  


राजाराम गुर्जर का विवादों से है पुराना नाता

जयपुर ग्रेटर निगम की मेयर सौम्या गुर्जर के पति राजाराम गुर्जर का विवादों से पुराना नाता रहा है। वो करौली नगरपालिका के पूर्व सभापति भी रह चुकी है। राजाराम गुर्जर के खिलाफ नवंबर 2019 में नगर परिषद सैनेटरी इंस्पेक्टर के साथ मारपीट और अभ्रदता करने का आरोप लगा था। इस मामले में उनके खिलाफ कोतवाली थाने में प्राथमिकी दर्ज करवाई गई थी। मामले में राजाराम को सभापति का पद गंवाना पड़ा था। हालांकि, जुलाई 2020 में राजाराम फिर बहाल हो गये थे। वहीं जयपुर में बीवीजी कंपनी और राजाराम गुर्जर का 100 करोड़ की डील का आडियो भी वायरल हुआ था। जिसके बाद राजाराम गुर्जर को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था। 


करौली हिंसा

करौली में दो अप्रैल को हिंदू नव वर्ष पर निकाली गई बाइक रैली पर उपद्रवियों ने पथराव कर दिया था। लोग अपने वाहन और बाइक छोड़कर भाग निकले। उपद्रवियों ने 35 से अधिक दुकानों, मकानों और बाइकों को आग के हवाले कर दिया था। बिगड़ते हालात को देखते हुए शहर में पहले धारा 144, कर्फ्यू और फिर इंटरनेट सेवा बंद कर दी गई थी। हिंसा में पुलिसकर्मियों सहित 43 लोग घायल हुए थे। इस घटना के बाद से कई बार यहां कर्फ्यू बढ़ाया गया। कहा गया कि डीजे पर भड़काऊ गाने बजाने पर रैली में पथराव किया गया, जिसके बाद हिंसा भड़क गई।