देश / हिमाचल प्रदेश और हरियाणा के उपचुनावों में बीजेपी की हार किसान आंदोलन की जीत है: टिकैत

भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) के नेता राकेश टिकैत ने बुधवार को कहा कि हिमाचल प्रदेश और हरियाणा के उपचुनावों में बीजेपी की हार 'किसान आंदोलन की जीत' है। बकौल टिकैत, "अगर केंद्र ने किसानों की नहीं सुनी तो बीजेपी हारती रहेगी...उनके वादे और उनके कार्य अलग हैं। उन्होंने जो वादा किया था उसे पूरा नहीं कर रहे हैं।"

नई दिल्ली: 13 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में हुए उपचुनाव के नतीजे आ चुके हैं। विधानसभा की 30 सीटों पर हुए उपचुनाव में जहां 15 सीटों पर एनडीए ने जीत हासिल की है तो वहीं कांग्रेस ने 9 पर और तृणमूल कांग्रेस ने 4 सीटों पर जीत हासिल की। जहां राजस्थान और हिमाचल प्रदेश के उपचुनाव में कांग्रेस को जीत मिली है तो वहीं पूर्वोत्तर के राज्यों और मध्य प्रदेश में बीजेपी ने परचम लहराया है। उपचुनाव के नतीजों की ओर इशारा करते हुए अब किसान नेता राकेश टिकैत ने ट्वीट किया और भाजपा पर भी तंज कसा।

किसान नेता राकेश टिकैत ने उपचुनाव के नतीजों पर भाजपा को घेरते हुए लिखा, “किसानों द्वारा तैयार की गई दवाई का असर भाजपा पर पूरी तरह से हो रहा है। समय जरूर लेगा, लेकिन 2022 तक स्वास्थ्य लाभ होगा।” बता दें कि इससे पहले अमरोहा में हुई महापंचायत में भी राकेश टिकैत ने चुनावों को लेकर सरकार पर तंज कसा था।

वहीं हाल ही में न्यूज 24 को दिए इंटरव्यू में राकेश टिकैत ने सरकार को चेतावनी दी और कहा कि उनके पास केवल 26 नवंबर तक का ही समय है। राकेश टिकैत ने सरकार पर तंज कसते हुए कहा, “ये फसलें सस्ते में खरीदकर अपने व्यापारी दोस्तों को फायदा पहुंचाना चाहते हैं। किसान की फसलों को लूटा जाए, जैसे बाजरा, आलू और मक्के का किसान पूरी तरह से बर्बाद हुआ है। घोषणापत्र में भी उन्होंने कहा था कि हम सी-2 प्लस एफएल वाला फॉर्म्यूला लागू करेंगे। लेकिन वह नहीं हुआ। उसका नतीजा यह हुआ कि आगरा में आलू के किसानों ने आत्महत्या की।”

राकेश टिकैत ने इस सिलसिले में आगे कहा, “जिस किसान ने जमीनें ठेके पर ली थीं, सबसे ज्यादा वह बर्बाद हुआ।” इंटरव्यू में राकेश टिकैत से उनके अगले कदम के बारे में भी पूछा गया, जिसपर किसान नेता ने कहा, “उनके पास 26 नवंबर तक का ही वक्त है, बात करना चाहें तो कर लें। 27-28 तारीख से हम अपने मकानों की मरम्मत शुरू करेंगे।”

राकेश टिकैत ने सरकार को चेतावनी देते हुए आगे कहा, “26 नवंबर तक कुछ नहीं हुआ तो हम भी अपना मामला शुरू करेंगे। आगे के छह महीनों के लिए तैयारियां करेंगे।” इंटरव्यू के दौरान राकेश टिकैत से विधानसभा चुनाव के बारे में भी सवाल किया गया और पूछा गया कि क्या चुनाव पर भी आंदोलन का असर पड़ेगा।

राकेश टिकैत ने इस बात का जवाब देते हुए आगे कहा, “बेशर्म सरकार है, असर पड़े या न पड़े। जब सरकार बेशर्म हो जाती है और उन्हें कुछ दिखाई नहीं देता है तो हम इस बारे में कुछ नहीं कह सकते हैं कि उनपर असर पड़ेगा भी या नहीं “