दुनिया / Tiktok के अमेरिकी ऑपरेशन को खरीदने के लिए Twitter भी अब रेस में- सूत्र

टिकटॉक को भारत में पहले ही बैन किया जा चुका है और अमेरिका ने भी टिकटॉक को राष्ट्रीय के लिए खतरा बताकर बैन करने की घोषणा की है। अमेरिका ने कहा है कि अगर इसे बेच दिया जाता है तो इस पर बैन नहीं लागाया जाएगा। इस खरीदने की रेस में सॉफ्टवेयर बनाने वाली कंपनी माइक्रोसॉफ्ट सबसे आगे है लेकिन अब ट्विटर भी इस रेस में आ गया है।

Live Hindustan : Aug 09, 2020, 09:13 AM
USA: टिकटॉक को भारत में पहले ही बैन किया जा चुका है और अमेरिका ने भी टिकटॉक को राष्ट्रीय के लिए खतरा बताकर बैन करने की घोषणा की है। अमेरिका ने कहा है कि अगर इसे बेच दिया जाता है तो इस पर बैन नहीं लागाया जाएगा। इस खरीदने की रेस में सॉफ्टवेयर बनाने वाली कंपनी माइक्रोसॉफ्ट सबसे आगे है लेकिन अब ट्विटर भी इस रेस में आ गया है। 


टिकटॉक की डील को लेकर संदेह

अमेरिका के शेयर मार्किट में खबरें चल रही हैं कि बाइटडांस के ऐप टिकटॉक को ट्विटर खरीद सकता है। इस मामले से परिचित कुछ लोगों ने समाचार एजेंसी रॉयटर्स को बताया कि ट्विटर ने बाइटडांस के मालिक से इस मामले को लेकर मुलाकात की है। लेकिन विशेषज्ञों को ट्विटर के टिकटॉक खरीदने की काबिलियत पर संदेह है। शनिवार को कुछ सूत्रों ने कहा कि ऐसा संभव होता नहीं दिख रहा कि ट्विटर माइक्रोसॉफ्ट को इस डील में पछाड़ देगा और ये 45 दिनों में डील पूरी कर लेगा। अमेरिका के राष्टपति डोनल्ड ट्रंप ने चीनी कंपनी बाइटडांस को आप को बेचने के लिए 45 दिन का समय दिया है।


फंड जुटाने के लिए करने होंगे प्रयास

ट्विटर टिकटॉक के साथ अभी अपनी शुरुआती बात-चीत में है और माइक्रोसॉफ्ट फ्रंट रनर के रूप में है वो डील के लिए बोली भी लगा चुका है। सूत्रों के अनुसार ट्विटर के पास लगभग 30 बिलियन डॉलर का मार्केट कैपिटलाइज़ेशन है, जो टिकटॉक की एसेट्स के वैल्यूएशन के लगभग बराबर है अगर ट्विटर टिकटॉक को खरीदता है तो उसे फंड जुटाने की ज़रूरत होगी। हालांकि ट्विटर और टिकटॉक ने इस पर कोई भी आधिकारिक टिप्पणी नहीं की है।

ट्रंप ने इस सप्ताह कहा कि वो माइक्रोसॉफ्ट के टिकटॉक खरीदने के प्रयास का समर्थन करते हैं। लेकिन इस डील से अमेरिकी सरकार को एक बड़ा हिस्सा मिलना चाहिए। उन्होंने कहा कि अगर कोई डील नहीं होती है तो 15 सितंबर तक वो इस ऐप पर बैन लगा देंगे।